GK- विशाल अजगर के शव पर स्थित है भारत का प्रसिद्ध पर्यटक स्थल, दुनिया भर के पर्यटक आते हैं

हिमाचल प्रदेश के कुल्लू घाटी भारत का एक प्रसिद्ध पर्यटक स्थल है, परंतु क्या आप जानते हैं यह पर्वत एवं घाटी कुलान्त राक्षस के शव पर स्थित है। कुलान्त ने विशाल अजगर का रूप धारण करके व्यास नदी की धारा अवरुद्ध कर दी थी। वह चाहता था कि बहुत बड़ा जल भंडार एक साथ छोड़ेगा जिससे भारतवर्ष में बाढ़ आ जाएगी और पूरी भूमि पानी में डूब जाएगी। भगवान शिव ने कुलान्त राक्षस का वध करके पृथ्वी के एक बड़े भाग को जलमग्न होने से बचाया। उसी अजगर के शव को कुल्लू घाटी के नाम से जाना जाता है। कहते हैं कि भगवान शिव के आदेश से देवताओं के राजा इंद्र प्रत्येक 12 वर्ष में एक बार यहां दौरे पर आते हैं और सुनिश्चित करते हैं कि इस क्षेत्र में मानव जाति को हानि पहुंचाने वाली कोई गतिविधि तो नहीं हो रही।

गयासुर राक्षस के कारण- गया बिहार

भारत का बड़ा प्रसिद्ध शहर है गया। लोग इसे तीर्थ स्थान मानते हैं। पितृों की तृप्ति के लिए यहां पर पिंडदान और श्राद्ध कर्म किए जाते हैं। भगवान विष्णु ने राक्षस गयासुर को वरदान दिया था, उसी के फल स्वरुप इस क्षेत्र को गया के नाम से जाना जाता है। कहते हैं कि गयासुर काफी विशाल राक्षस था। पूरे विस्तार के साथ उसका शरीर पांच कोस का हो जाता था। गया शहर का क्षेत्रफल भी 5 कोस का ही था।

राक्षस महिषासुर का शहर मैसूर 

मैसूर को ज्यादातर लोग टीपू सुल्तान के लिए जानते हैं लेकिन इस क्षेत्र का नाम कुख्यात राक्षस महिषासुर के नाम पर लोकप्रिय हुआ है। चामुंडेश्वरी देवी ने लोगों की रक्षा के लिए महिषासुर का वध किया था। कन्नड़ में इसे मैसुरु कहा गया, जो सरकारी दस्तावेजों में मैसूर के रूप में दर्ज किया गया। मैसूर की 'चामुंडी पहाड़ी' की चोटी पर महिषासुर की एक विशाल मूर्ति भी बनाई गई है।

राक्षस जलंधर के राज्य की राजधानी है पंजाब का जालंधर 

पंजाब राज्य का जालंधर शहर प्राचीन काल में भगवान शिव के शत्रु राक्षस जलंधर के राज्य की राजधानी हुआ करता था। जलंधर की पत्नी वृंदा एक पतिव्रता स्त्री थी, उसके पतिव्रत के कारण ही राक्षस जलंधर की मृत्यु नहीं हो रही थी। कथाओं में उल्लेख है कि भगवान विष्णु ने वृंदा के व्रत को भंग करके जलंधर का वध किया था।

प्रलंबासुर के नाम पर है हरियाणा का पलवल

हरियाणा राज्य के पलवल शहर का नाम मथुरा के राजा कंस के असुर मित्र प्रलंबासुर के नाम से संबंधित है। इस शहर को पलंबरपुर भी कहा जाता था लेकिन समय के साथ नाम बदल कर पलवल कर दिया गया। प्रलंबासुर वही राक्षस है जिसमें अपने मित्र कंस के कहने पर श्री कृष्ण के भाई बलराम का अपहरण कर लिया था और उसी समय बलदाऊ ने प्रलंबासुर का वध किया था। बलराम की याद में आज भी पलवल में 'बलदेव छठ' का मेला लगता है।

राक्षसराज हिरण्यकश्यप के नाम पर उत्तर प्रदेश का हरदोई 

उत्तर प्रदेश में एक जिला है हरदोई। यह क्षेत्र भगवान विष्णु के शत्रु राक्षस राज हिरण्यकशिपु के नाम से संबंधित है। यह हरि द्रोही (श्री हरि विष्णु का द्रोही अर्थात दुश्मन) का क्षेत्र हुआ करता था। जो बाद में हरदोई के नाम से पुकारा जाने लगा। Notice: this is the copyright protected post. do not try to copy of this article

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