MADHYA PRADESH की कई सीटों पर बरैया के बयान का असर, कांग्रेसी कमलनाथ से नाराज - MP NEWS

भोपाल।
मध्यप्रदेश विधानसभा उपचुनाव 2020 के लिए दतिया जिले की भांडेर विधानसभा सीट से कांग्रेस पार्टी द्वारा अधिकृत प्रत्याशी घोषित किए गए फूल सिंह बरैया का सवर्ण जाति की महिलाओं वाला बयान केवल भांडेर सीट ही नहीं बल्कि मध्य प्रदेश की दूसरी कई सीटों पर भी असर दिखा रहा है। कांग्रेस पार्टी के कई नेता प्रदेश अध्यक्ष कमलनाथ से नाराज हैं। उन्हें उम्मीद थी कि कमलनाथ, बरैया के बयान की कड़े शब्दों में निंदा करेंगे परंतु उन्होंने ऐसा नहीं किया। 

अनुसूचित जाति के नागरिकों को सरकारी योजनाओं का लाभ दिलाने के लिए सक्रिय नेता डॉ. मोहनलाल पाटील ने कहा कि राजनीति चमकाने के लिए जातीय और धार्मिक वैमनस्यता फैलाने का अधिकार किसी को नहीं है। सपाक्स (सामान्य, पिछड़ा एवं अल्पसंख्यक वर्ग अधिकारी कर्मचारी संस्था) पार्टी के अध्यक्ष हीरालाल त्रिवेदी का कहना है कि ऐसे लोगों के खिलाफ देशद्रोह का मामला दर्ज होना चाहिए।

सूचना का अधिकार कार्यकर्ता अजय दुबे ने चुनाव आयोग से कांग्रेस के प्रत्याशी फूल सिंह बरैया के खिलाफ सख्त कार्रवाई के साथ कांग्रेस की मान्यता निरस्त करने की मांग उठाई है। इसके अलावा सामान्य वर्ग के कई कांग्रेसी नेताओं ने पार्टी के प्रचार अभियान से दूरी बना ली है। शनिवार को भांडेर के वरिष्ठ नेता ठाकुरदास खंपरिया ने कांग्रेस छोड़ भाजपा की सदस्यता ग्रहण कर ली।

बरैया मूलतः बहुजन समाज पार्टी (बसपा) के नेता रहे हैं। ग्वालियर-चंबल क्षेत्र में कांग्रेस ने उन्हें अपना चेहरा बनाया है। यहां एससी वर्ग का कुछ सीटों पर अच्छा प्रभाव है, लेकिन बरैया का इतिहास और सोशल मीडिया पर वायरल हुआ उनका वीडियो कांग्रेस के लिए मुसीबत बनता जा रहा है। सामाजिक ताने-बाने को छिन्न-भिन्न करने वाले इस बयान को लेकर अन्य कांग्रेस नेता भी चुप्पी साधकर बैठे हैं। 

ऑल इंडिया मुस्लिम त्योहार कमेटी के अध्यक्ष डॉ. औसाफ शाहमीरी खुर्रम का कहना है कि यह बयान बरैया के मानसिक दिवालियापन का परिचय है, बिलकुल बेतुकी और समाज को बांटने वाली बात है। चुनाव आयोग के साथ-साथ पुलिस को तत्काल संज्ञान लेकर मुकदमा दर्ज करना चाहिए।

कमलनाथ द्वारा फूल सिंह बरैया का बचाव करने से बात बढ़ गई

अशोक नगर विधानसभा क्षेत्र में प्रचार के लिए पहुंचे प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमल नाथ रविवार को इस मामले में बरैया का बचाव करते नजर आए। उन्होंने मीडिया द्वारा पूछे गए सवाल को भारतीय जनता पार्टी से जोड़ दिया और लगभग डांट लगाते हुए जवाब देने के बजाय प्रति प्रश्न किया। कमलनाथ के इस रवैया से जहां एक और जातिवाद की निम्न स्तरीय राजनीति की निंदा करने वाले पत्रकार नाराज हो गए वहीं दूसरी ओर कांग्रेस पार्टी में भी इस मुद्दे पर कमलनाथ का समर्थन करने वाले नेता नजर नहीं आ रहे।

मामले में मप्र के गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कहा, कांग्रेस हमेशा देश तोड़ने वाली ताकतों का पक्ष लेती रही है। भारत तेरे टुकड़े होंगे... अफजल हम शर्मिंदा है..जैसे नारे लगाने वालों से मिलने सबसे पहले राहुल गांधी पहुंचे थे। कमोबेश यही सोच कांग्रेस प्रत्याशी फूल सिंह बरैया के बयानों में है। बरैया के बयान देश, समाज को तोड़ने वाले होते हैं। समाज के ऐसे दुश्मनों को सबक सिखाया जाना चाहिए।

कांग्रेस को छोड़ हर दल कर रहा भर्त्सना

सामाजिक दूरियां बढ़ाने वाला बयान किसी भी व्यक्ति का हो, उसे स्वीकार नहीं किया जा सकता है। बयान पुराने हो सकते हैं पर इसे मान्यता कतई नहीं दी जा सकती है। यह निंदनीय है। बरैया को सार्वजनिक रूप से माफी मांगनी चाहिए। - डॉ. मोहनलाल पाटील, महासचिव, रिपब्लिक पार्टी आफ इंडिया

- बरैया जैसे लोग परोक्ष रूप से विदेशी ताकतों के हाथों में खेल रहे हैं और विभाजनकारी राजनीति करना चाहते हैं। कांग्रेस जवाब दे कि बरैया जो कुछ कह रहे हैं, क्या वो पार्टी की अधिकारिक लाइन है। - दीपक विजयवर्गीय, मुख्य प्रवक्ता, मप्र भाजपा

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