भोपाल। मुख्यमंत्री कमलनाथ ने प्रदेश के आला अफसरों के साथ सड़कों की समीक्षा करते हुए कहा कि केरल में तो बारिश ज्यादा होती है, फिर उनकी सड़कें इतनी खराब क्यों नहीं होती। गुणवत्ता और तकनीक पर ध्यान दें और केरल से सीख लें। यहां लोक निर्माण विभाग ने सड़कों के लिए 326 करोड रुपए और मांगे हैं, जबकि नगरीय विकास ने बजट में 20 फीसदी ज्यादा राशि की मांग उठाई।
मंत्रालय में सड़कों के सुधार कार्य की प्रगति की समीक्षा बैठक में मुख्यमंत्री ने हिदायत दी कि प्रधानमंत्री सड़क योजना पर ध्यान दें और केंद्र से ज्यादा से ज्यादा राशि लेने का प्रयास करें। उन्होंने सड़कों के लिए स्थाई फंड बनाने व आय के स्रोत जुटाने और अतिवृष्टि से क्षतिग्रस्त हुई सड़कों के सुधार कार्य की समीक्षा प्रति सप्ताह करने को कहा। साथ ही नवंबर अंत तक सड़कों की मरम्मत पूरी करने के निर्देश दिए।
मालूम हो कि प्रदेश में भारी वर्षा के कारण 91 हजार 927 किलोमीटर सड़कों की मरम्मत की जानी है। बैठक में लोक निर्माण मंत्री सज्जन सिंह वर्मा, पंचायत ग्रामीण विकास मंत्री कमलेश्वर पटेल, मुख्य सचिव एसआर मोहंती, अपर मुख्य सचिव गौरी सिंह, प्रमुख सचिव मलय श्रीवास्तव मौजूद थे।
रखरखाव के लिए अन्य राज्यों की प्रक्रिया का अध्ययन करें
मुख्यमंत्री ने सड़कों के रखरखाव और निर्माण कार्यों में अन्य राज्यों में अपनाई गई प्रक्रिया का अध्ययन करने को भी कहा। उन्होंने कहा कि इस बात की तुलना होना चाहिए कि सड़क निर्माण के बाद प्रदेश और अन्य राज्यों की सड़कों की आयु सीमा कितनी थी। सीएम ने कहा कि सड़कों का निर्माण ऐसा हो कि बारिश से वे खराब न हों। उन्होंने इसके लिए वित्तीय संसाधन जुटाने और रखरखाव व निर्माण कार्य में कोई बाधा न आए व गुणवत्ता के मामले कोई भी कोताही नहीं बरतने को कहा।