इंदौर। आर्थिक अपराध ब्यूरो (ईओडब्ल्यू) भोपाल ने एक जमीन को गलत तरीके से अपनी कंपनी के नाम पर ट्रांसफर करने के मामले में चार कारोबारी तुलसीदास मनवानी (TULSIDAS MANWANI), गिरीश मतलानी (GIRISH MATLANI), उसकी पत्नी चांदनी मतलानी (CHANDNI MATLANI), हिना वाधवानी (HINA WADHWANI) और आईडीए के तत्कालीन अधिकारियों के खिलाफ धोखाधड़ी सहित अन्य धाराओं में केस दर्ज किया है। आगे की कार्रवाई इंदौर ईओडब्ल्यू करेगा।
नीमच में रहने वाले जगदीशप्रसाद पालीवाल की शिकायत पर तुलसीदास मनवानी, गिरीश मतलानी, उसकी पत्नी चांदनी मतलानी, हिना वाधवानी और आईडीए के तत्कालीन अधिकारियों के खिलाफ धोखाधड़ी और अन्य धाराओं में केस दर्ज किया है। इंदौर ईओडल्यू के डीएसपी आनंद यादव ने फरवरी में इस मामले की जांच कर रिपोर्ट भोपाल पेश की थी। इसके बाद शनिवार को केस दर्ज किया गया। आईडीए की योजना पीयू 54 में 1986 में एक होटल उपयोग का भूखंड पालीवाल ने निविदा में हासिल किया था।
वे नीमच में रहते थे, इसलिए अपने परिचित तुलसीदास मनवानी को प्लॉट से जुड़े सारे काम के लिए मुख्त्यारनाम नियुक्त किया था। सभी आरोपितों ने मिलकर जेपी एंड कंपनी का गठन किया और पालीवाल को भी उसमें सदस्य बना लिया। इसकी सूचना प्राधिकरण को नहीं दी। बाद में सुनियोजित तरीके से पालीवाल को कंपनी से रिटायर करवा दिया। आरोपितों ने इंदौर विकास प्राधिकरण के अधिकारियों के साथ मिलकर प्लॉट को पालीवाल के स्थान पर कंपनी के नाम पर भी ट्रांसफर करवा लिया।