
हिडन कैमरे के सामने ही कोचिंग के डायरेक्टर कहते है कि वह साढ़े तीन लाख रुपये में इंजीनियरिंग की डिग्री, डेढ़ लाख में इंजीनियरिंग का डिप्लोमा, जबकि महज एक लाख रुपये में बीएड की डिग्री दिलवा देंगे और इसके लिए आपको कोई पढ़ाई करने की भी जरूरत नहीं। इसके साथ ही उन्होंने बताया कि वह दो महीने में सारी फॉर्मैलिटीज़ पूरी कर किसी भी ब्रांच की इंजीनियरिंग डिग्री, जबकि डिप्लोमा के लिए एक महीने का वक्त लगेगा।
ईटीवी की टीम को अपनी पड़ताल में यह भी पता चला कि इस गोरखधंधे में जुटा यह कोई अकेला कोचिंग सेंटर नहीं, पटना में फर्जी डिग्री मुहैया करने का पूरा बाजार सजा है। इसमें बिहार की यूनिवर्सिटीज़ से लेकर दूसरे राज्यों में स्थित बड़ी यूनिवर्सिटियों की फर्जी डिग्रियां बेची जा रही हैं।
कोचिंग इंस्टिट्यूट का दावा है कि उनकी डिग्री पर कोई सवाल भी नहीं उठा सकता, क्योंकि वह बाजाप्ता बैक डेट से उन यूनिवर्सिटी में आपका दाखिला दिखाएंगे और फिर उसी हिसाब से एक पुख्ता डिग्री बनाई जाएगी। इन फर्जी डिग्रियों का उन यूनिवर्सिटीज़ में रिकॉर्ड भी दर्ज किया जाता है और जिससे आगे जांच में भी यह फर्जीवाड़ा पकड़ा नहीं जाता।