
बता दें कि शुक्रवार को ही राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के इतिहास विंग अखिल भारतीय इतिहास संकलन समिति (ABISS) ने अपील की थी कि ताजमहल में शुक्रवार को होने वाली नमाज़ पर रोक लगा दी जाए। नेशनल सेकेट्ररी डॉ. बालमुकुंद पांडे ने कहा था कि ताजमहल एक राष्ट्रीय संपत्ति है, तो उसे मुस्लिमों को धार्मिक स्थान के रूप में इस्तेमाल करने की इजाजत क्यों दी जाती है। ताजमहल में नमाज पढ़ने की प्रक्रिया पर रोक लगा देनी चाहिए।
गौरतलब है कि बीजेपी विधायक संगीत सोम और बीजेपी नेता विनय कटियार के द्वारा ताजमहल को लेकर दिए गए बयान से लगातार विवाद बढ़ता जा रहा था। इसके अलावा भी हिंदू युवा वाहिनी के कुछ सदस्यों ने ताजमहल के बाहर शिव चालीसा की थी। जिसके बाद सीएम योगी गुरुवार को ताजमहल का दौरा करने गए थे। योगी ने यहां पर कई योजनाओं की शुरुआत की थी।