𝐄𝐏𝐅𝐎 𝐁𝐢𝐠 𝐔𝐩𝐝𝐚𝐭𝐞! ऑनलाइन सिस्टम में बैठा बिगड़ैल बाबू बदलने वाला है

Bhopal Samachar
"बिगड़ैल बाबू" खुद तो आप जानते ही हैं। एक ऐसा सरकारी कर्मचारी जो सिस्टम में ऐसी जगह मौजूद होता है जहां उसका सक्रिय रहना सिस्टम के लिए जरूरी है लेकिन वह न केवल गड़बड़ करता है बल्कि लोगों को तंग करने वाले काम भी करता है। जिसके कारण पूरा ऑफिस बदनाम हो जाता है। ऐसा ही एक "बिगड़ैल बाबू" कर्मचारी भविष्य निधि संगठन के ऑनलाइन सिस्टम के अंदर था। कर्मचारियों का बड़ा परेशान करता था, अब बदलने वाला है। 

𝐁𝐢𝐠 𝐔𝐩𝐝𝐚𝐭𝐞 𝐟𝐫𝐨𝐦 𝐄𝐏𝐅𝐎! ⁣Revamped ECR Coming Soon

एम्पलाइज प्रोविडेंट फंड ऑर्गेनाइजेशन दिल्ली द्वारा बताया गया है कि "Revamped ECR Coming Soon" यह न्यूज़ उन कर्मचारियों के लिए दीपावली धमाका से भी बड़ी है जो "मौजूदा ECR" के हाथों परेशान हो चुके हैं। यदि आप नहीं जानते और जानना चाहते हैं कि हम मौजूदा ECR को ऑनलाइन सॉफ्टवेयर के अंदर मौजूद "बिगड़ैल बाबू" क्यों कह रहे हैं, तो कृपया अगला पैराग्राफ पढ़िए, जान जाएंगे। फिलहाल सबसे राहत भरी और बड़ी खबर यह है कि, कर्मचारी भविष्य निधि संगठन की ओर से ऑफिशल अपडेट दिया गया है। बताया गया है कि " Revamped ECR with features like system checks on submission, return and payment segregation, etc is coming soon for Wage Month September 2025 onwards. Stay Tuned for more updates".⁣। इसका मतलब हुआ कि अक्टूबर के महीने में "मौजूदा ECR" से मुक्ति मिल जाएगी। 

EPFO के मैसेज Revamped ECR Coming Soon का हिंदी ट्रांसलेशन और मतलब

कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) सितंबर 2025 के वेतन माह से एक संशोधित इलेक्ट्रॉनिक चालान सह रिटर्न (ईसीआर) प्रणाली शुरू कर रहा है। इसका मतलब हुआ कि Electronic Challan-cum-Return की प्रक्रिया को नया रूप दिया जा रहा है। 𝐍𝐞𝐰 𝐄𝐂𝐑 में क्या बदल जाएगा, पॉइंट टू पॉइंट समझिए:- 
  • System checks on submission – अब जब नियोक्ता (Employer) ECR भरेंगे, तो सिस्टम में कुछ ऑटोमैटिक चेक लगेंगे ताकि गलतियाँ कम हों।
  • Return and payment segregation – रिटर्न फाइलिंग और पेमेंट की प्रोसेस को अलग-अलग कर दिया जाएगा, जिससे प्रोसेस ज्यादा क्लियर और आसान हो जाएगी।
  • यह बदलाव सितंबर 2025 की वेतन माह (Wage Month September 2025) से लागू होंगे।
  • मतलब: नियोक्ताओं के लिए EPF रिटर्न फाइल करने की प्रक्रिया और ज्यादा पारदर्शी और error-free बनने वाली है। कर्मचारियों पर सीधे असर यह होगा कि उनका PF डाटा ज्यादा सुरक्षित और सटीक दर्ज होगा।

मौजूदा ECR सिस्टम में क्या प्रॉब्लम थी

जब Employer ECR अपलोड करते थे, तो अगर डेटा (जैसे UAN गलत, नाम–DOB mismatch, contribution calculation error) में गलती होती थी, तो वह तुरंत सामने नहीं आती थी। बाद में पता चलता था, जिससे Rectification और Re-filing करनी पड़ती थी।

Return और Payment का Confusion: Return filing (यानी डेटा अपलोड करना) और Payment (PF contribution जमा करना) दोनों एक साथ होते थे। अगर Payment fail हुआ या Delay हुआ तो पूरा Return invalid हो जाता था।

Mismatch की दिक्कत:  कई बार Employer ने जितनी Salary डाली और जितना Contribution (12%) निकाला उसमें mismatch हो जाता था। System error तुरंत नहीं दिखाता था, लेकिन बाद में PF Passbook या Audit में ये issue निकलते थे।

Rectification की जटिलता:  अगर एक छोटी सी भी गलती हो जाए (जैसे एक कर्मचारी का UAN गलत डाल दिया), तो पूरा ECR फिर से बनाना पड़ता था।

इससे Employers को बार-बार technical दिक्कतें और Late fee लग जाती थी।

Transparency की कमी:  Employees को कई बार PF Passbook update देर से दिखती थी, क्योंकि Employer के level पर submission और payment mismatch रहता था।

इसलिए हमने इसको प्रारंभ में "बिगड़ैल बाबू" कहा था। आपके ऑफिस में भी एक नहीं कैसा कर्मचारी जरूर होगा, जो काम नहीं करता बल्कि काम खराब करता है और इस तरह करता है कि, व्यक्ति या तो अपने बाल  नोचने लगता है या फिर.... क्योंकि उसका तो कुछ कर नहीं सकते। कुछ किया तो पता नहीं कौन सा कांड कर देगा। भोपाल समाचार न्यूज़ पोर्टल के संवाददाता अजय उपाध्याय की रिपोर्ट।
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