BHOPAL SAMACHAR की खबर का असर- परीक्षा माफिया गिरफ्तार, दिल्ली में लग्जरी लाइफ जी रहा था

ग्वालियर। भोपाल समाचार डॉट कॉम की खबर का असर दिखाई दिया है। NHM संविदा स्टाफ नर्सिंग भर्ती परीक्षा में रिश्वत लेकर उम्मीदवारों को पास कराने का ठेका लेने वाले परीक्षा माफिया पुष्कर पांडे और उसके साथी राजीव राजन को गिरफ्तार कर लिया गया है। पुलिस की टीम होली से पहले खाली हाथ लौट आई थी परंतु भोपाल समाचार सहित मध्य प्रदेश के कुछ प्रमुख समाचार संस्थानों ने इस मामले को ठंडा नहीं पड़ने दिया। (यहां क्लिक करके वह खबर पढ़ सकते हैं) नतीजा पुष्कर पांडे और उसके साथी राजीव राजन को गिरफ्तार करना पड़ा। 

दिल्ली में लग्जरी लाइफ जी रहा था, नई फॉर्च्यूनर कार खरीदी थी

इधर ग्वालियर पुलिस दावा कर रही थी कि उन्होंने हरियाणा, यूपी, महाराष्ट्र, राजस्थान और दिल्ली राज्यों के जयपुर, जोधपुर, भिवानी, अजमेर, मुंबई, नागपुर, मेरठ, नोएडा, गाजियाबाद समेत 30 शहरों में पुष्कर पांडे की तलाश की परंतु वह कहीं पर नहीं मिला। जबकि पुष्कर पांडे दिल्ली में लग्जरी लाइफ जी रहा था। उसे पूरा विश्वास था कि, जिस के आशीर्वाद के चलते उसने करोड़ों की कमाई की है वह उसकी गिरफ्तारी नहीं होने देगा। स्टाफ नर्स भर्ती परीक्षा से जो अवैध कमाई हुई थी उससे नई फॉर्च्यूनर कार खरीद ली थी। पुलिस ने दावा किया है कि इसी कार में उसे गिरफ्तार किया गया है। 

मामले को ठंडा करने के लिए की गई है गिरफ्तारी

पहले पुलिस ने दावा किया कि उन्होंने 30 शहरों में पुष्कर पांडे की तलाश की लेकिन वह नहीं मिला और सभी छः टीम वापस लौट आई है। यह अनुमान लगाया गया कि पुष्कर पांडे भारत से बाहर चला गया होगा, लेकिन जब इस मामले में पॉलिटिकल कनेक्शन को लेकर मीडिया ट्रायल शुरू हुआ तो दबाव बढ़ने लगा। इस मामले की रिपोर्टिंग कर रहे पत्रकारों की मांग है कि भोपाल से उसका एजेंट अमित गहरवार पकड़ा गया है। उसके बैंक अकाउंट में हुए ट्रांजैक्शन की जांच की जानी चाहिए। जिन लोगों को भी पेमेंट किया गया है वह सब लोग इस घोटाले में शामिल हैं।

ग्वालियर पुलिस पर दबाव, जांच की लिमिट फिक्स 

सूत्रों का कहना है कि इस मामले में ग्वालियर पुलिस पर दबाव बना हुआ है। पहले पुष्कर पांडे को गिरफ्तार न करने का दबाव था। जब पॉलिटिकल कनेक्शन के खुलासे का खतरा बढ़ने लगा तो पुष्कर पांडे को गिरफ्तार करवा दिया गया परंतु यह गिरफ्तारी भी पॉलिटिकल कनेक्शन को सुरक्षित करने के लिए की गई है। गिरफ्तारी के बाद पुलिस ने पुष्कर पांडे के हवाले से बताया कि, परीक्षा कराने वाली कंपनी का कंप्यूटर सर्वर हैक करके पेपर प्राप्त किए गए थे। जबकि एग्रीमेंट के हिसाब से परीक्षा आयोजित करने वाली कंपनी का कंप्यूटर सर्वर हैक नहीं किया जा सकता था। यदि होता भी तो कंपनी को पता चल जाता। कंपनी ने ऐसी कोई रिपोर्ट नहीं की। 

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