माइंडफुलनेस क्या है जो सफलता के लिए सबसे जरूरी है - MOTIVATIONAL ARTICLE in HINDI

0
शक्ति रावत
। दुनिया ने अपनी सुविधा के लिए समय को तीन भागों में बांट रखा है। अतीत, वर्तमान और भविष्य। इंसान भी अपनी जिंदगी को इसी तरह से बांटकर जीता है। लेकिन हममें से कईयों के मन में यह सवाल बार-बार उठता रहता है, कि आखिर जिंदगी इन तीनों कालखंड़ों के बीच है कहां। क्या अतीत की यादों में या फिर भविष्य के सपनों में क्योंकि हम इन्हीं के बीच सबसे ज्यादा जीते हैं। लेकिन असली जबाब है, वर्तमान में। 

मनोवैज्ञानिक, सेल्प हेल्प गुरू और मोटीवेशनल्स से लेकर तमाम लोग अपनी बात में बार-बार एक शब्द इस्तेमाल करते हैं, माइंडफुलनेस। आखिर यह है क्या। दरअसल वर्तमान के क्षण में जहां आप हैं, उसी पल में जीने को ही माइंडफुलनेस कहा जाता है। यानि वर्तमान में जीना जिसके ना पीछे कुछ और ना आगे कुछ। जो है, यही पल है और यही सत्य है, इसके अलावा कुछ भी नहीं। इसे साधना कठिन है, लेकिन साध लिया तो जिंदगी बदल जाएगी। यह होगा कैसा जानिये।

1- हर काम करें, पूरे ध्यान से
एक 24 घंटे के लिए जरा गौर कीजिये कि आप दिनभर में कितने काम ध्यान से यानि उस जगह पर मौजूद रहकर कर रहे हैं। आप जानकर हैरान होंगे, कि कोई 90 फीसदी काम आप एक मशीन की तरह कर रहे हैं, क्योंकि शरीर और दिमाग को इनकी आदत पड़ गई है। लेकिन माइंडफ्लनेस के लिए बहुत जरूरी है, कि आप छोटे से छोटे काम को भी पूरे अटेंशन के साथ करें। यहां तक कि चाय और पानी पीने जैसे काम भी। जो कर रहें उस समय आप वहां पूरे मौजूद होने चाहिये। चाहे छोटा काम हो या बड़ा काम।

2- दूर नहीं पास जाएं, सामना करें
मनोवैज्ञानिक सलाह देते हैं, कि अगर कोई बात या चीज आपको परेशान कर रही है, तो आमतौर पर हम उससे दूर भागना चाहते हैं, लेकिन इसका उल्टा करें। उससे दूर होने की जगह उसके पास जाएं। उसे समझे, स्वीकार करें। यह विचित्र बात है कि किसी समस्या को स्वीकर करते ही उसका समाधान मिल जाता है। हममें से कई लोग वर्तमान में इसलिये नहीं रहना चाहते क्योंकि वे उसकी समस्याओं से बचना चाहते हैं।

3- जो है उस पर गौर कीजिये
कितना समय बीता जबसे कि आपने अपने घर या गार्डन को ठीक से नहीं देखा। घर पर रखीं मूल्यवान चीजों को कितने समय पहले आपने गौर से देखा था। या अपनी पत्नि या पति का चेहरा गौर से कब से नहीं देखा। दरअसल ये सब चीजें स्वीकार हो गई आपको पता है, कि हैं। इसलिये ध्यान जाना बंद हो गया। लेेकिन मनोविज्ञान कुछ और कहता है, आपके पास जो भी है, उस पर गौर कीजिये। इससे आप उसके साथ भावानात्म लगाव महसूस करते हैं, और इससे वर्तमान में रहने यानि माइंडफुलनेस में मदद मिलती है।

4- जो करें डूबकर करें
माइंडफ्लनेस का चौथा सिद्वांत है आप वर्तमान के क्षण में जो भी काम कर रहे हैं, उसको पूर ध्यान से और उसमें मौजूद रहकर करें। चाहे वह काम हो या फिर मनोरंजन, टीवी देखते हुए ऑफिस की चिंता, और ऑफिस का काम करते हुए घर और रिश्तेदारों के बारे में सोचना आपको वर्तमान से भटका देता है। जब आप कोई भी काम अपने 100 प्रतिशत अटेंशन के साथ करते हैं, तो दूसरी चीजें या बातें आपको भटका नहीं पातीं हैं।
- लेखक मोटीवेशनल एंव लाइफ मैनेजमेंट स्पीकर हैं। 

महत्वपूर्ण, मददगार एवं मजेदार जानकारियां

GK in Hindiभारत की एक ऐसी जगह जहां आज भी ब्रिटिश सरकार का राज है
GK in Hindiबिजली के तार को कैसे पता होता है, पंखे को 60 वाट और एसी को 1160 वाट बिजली देना है
GK in Hindiउल्लू घोंसला क्यों नहीं बनाते, खंडहर में क्यों रहता है
GK in Hindiदर्पण के पीछे कौन सा पदार्थ लगा होता है, जो पारदर्शी से परावर्ती बन जाता है 
GK in Hindiभगवान विष्णु विश्राम मुद्रा में क्यों रहते हैं, सिंहासन पर क्यों नहीं बैठते
:- यदि आपके पास भी हैं ऐसे ही मजेदार एवं आमजनों के लिए उपयोगी जानकारी तो कृपया हमें ईमेल करें। editorbhopalsamachar@gmail.com
:- यदि आपके पास भी हैं ऐसे ही मजेदार एवं आमजनों के लिए उपयोगी जानकारी तो कृपया हमें ईमेल करें। editorbhopalsamachar@gmail.com
भोपाल समाचार से जुड़िए
कृपया गूगल न्यूज़ पर फॉलो करें यहां क्लिक करें
टेलीग्राम चैनल सब्सक्राइब करने के लिए यहां क्लिक करें
व्हाट्सएप ग्रुप ज्वाइन करने के लिए  यहां क्लिक करें
X-ट्विटर पर फॉलो करने के लिए यहां क्लिक करें
समाचार भेजें editorbhopalsamachar@gmail.com
जिलों में ब्यूरो/संवाददाता के लिए व्हाट्सएप करें 91652 24289

Post a Comment

0 Comments

Please Select Embedded Mode To show the Comment System.*

#buttons=(Ok, Go it!) #days=(20)

Our website uses cookies to enhance your experience. Check Now
Ok, Go it!