शैंपू की शुरुआत कहां से हुई, शैंपू किस भाषा का शब्द है - GK IN HINDI

आज की तारीख में दुनिया का कोई भी देश हो, यदि केश श्रंगार की बात होती है तो सबके पास सिर्फ एक ही विकल्प है, शैंपू। दुनिया में सबसे ज्यादा सौंदर्य प्रसाधन की सामग्री मिस्र में उत्पादित और उपयोग की गई। सवाल यह है कि शैंपू की शुरुआत कहां से हुई और बड़ा सवाल यह है कि शैंपू किस भाषा का शब्द है। 

शैंपू, संस्कृत भाषा के एक शब्द का अपभ्रंश है

बहुत सारे लोग इस बारे में जानते हैं परंतु जो नहीं जानते हैं उनके लिए यह आश्चर्यजनक हो सकता है कि शैंपू की शुरुआत मिस्र या दुनिया के किसी दूसरे देश से नहीं बल्कि भारत से हुई। शैंपू शब्द चंपू का अपभ्रंश है। इसका मतलब होता है बालों की मसाज करना। दुनिया का सबसे पहला शैंपू भारत में बना और भारतीय फार्मूले के आधार पर पूरी दुनिया में आज भी शैंपू बनाए जाते हैं।

आयुर्वेद के बाद शैंपू अस्तित्व में आया, राज परिवार की महिलाएं उपयोग करती थी

शैंपू भारत की सौंदर्य परंपरा का अभिन्न हिस्सा रहा है। समुद्र मंथन के बाद जब आयुर्वेद अस्तित्व में आया शायद तभी से शैंपू भी अस्तित्व में आ गया। उन दिनों भारत में राजघरानों की महिलाएं, विशेष तौर पर रानियां अपने बालों का श्रृंगार करने के लिए रीठा, आंवला और ऐसी ही कुछ जड़ी बूटियों से तैयार किए गए लेप का उपयोग करती थी। मुगल राजाओं ने इसे भारतीय परंपरा के अनुसार अपनाया। जब अंग्रेज भारत में आए, तब भारत में राज परिवारों के अलावा धनवान परिवारों की महिलाएं भी जड़ी बूटियों से तैयार होने वाले विशेष प्रकार के लेप का उपयोग किया करती थी। अंग्रेज अधिकारियों को यह फार्मूला काफी पसंद आया और वह इसे अपने वैज्ञानिकों के पास ले गए।

अंग्रेजी शासन काल में भारतीय फार्मूले के आधार पर हर्बल शैंपू बनाया गया

अंग्रेजी शासन काल में उनके वैज्ञानिकों ने इसे बोतल में बंद करने का काम किया। इस तरह दुनिया में सबसे पहला हर्बल शैंपू अस्तित्व में आया। समय के साथ-साथ शैंपू में कई तरह के परिवर्तन होते गए और आज दुनिया की हजारों मल्टीनेशनल कंपनियां शैंपू का उत्पादन करती है। बावजूद इसके भारत की प्राचीन पद्धति पर आधारित हर्बल शैंपू दुनिया भर में सबसे महंगा और सबसे ज्यादा डिमांड में रहने वाला शैंपू है। तो आज के बाद आप जब भी अपने बालों में हर्बल शैंपू का उपयोग करेंगे, गर्व के साथ यह फील करेंगे कि सारी दुनिया का सबसे लोकप्रिय सौंदर्य प्रसाधन भारत ने दिया है। 

व्यापारिक रिकॉर्ड के अनुसार 1927 में, बर्लिन में जर्मन आविष्कारक हंस श्वार्जकोफ द्वारा तरल शैम्पू का आविष्कार किया गया था। जिनके नाम पर यूरोप में बेचा जाने वाला एक शैम्पू ब्रांड बनाया गया। Notice: this is the copyright protected post. do not try to copy of this article (current affairs in hindi, gk question in hindi, current affairs 2019 in hindi, current affairs 2018 in hindi, today current affairs in hindi, general knowledge in hindi, gk ke question, gktoday in hindi, gk question answer in hindi,)

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