एक एनकाउंटर में मरा था, दूसरा एक्सीडेंट में, पुलिस ने दोनों को जिंदा पकड़ा | MP NEWS

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नीमच। मादक पदार्थ (Drug) की बड़ी खेप की तस्करी करते हुए 2 ऐसे आरोपियों को मप्र पुलिस ने गिरफ्तार किया है जो राजस्थान राज्य के सरकारी दस्तावेजों में मर चुके हैं। दोनों में से एक 2011 में एनकाउंटर (Encounter)में मारा गया था और दूसरा एक्सीडेंट में। इनके पास से जो पिकअप वाहन (Pick up vehicles) मिला है वो भी मरा हुआ है यानी उसका इंजन नंबर गायब है। इतना ही नहीं दोनों ने अपनी पिकअप का इंजन 'वंडर कार' (Wonder car) की तरह कर लिया था। यह किसी भी एसयूवी से ज्यादा तेज स्पीड में दौड़ती है। 

बीती रात पुलिस ने मुखबिर की सूचना पर वाहन चैकिंग तेज की। इस दौरान बरुखेड़ा मार्ग पर एक पिकअप वाहन नाकाबंदी तोड़कर सरपट दौड़ पड़ा। शंका होने पर पुलिस ने उसका पीछा किया तो आरोपी का वाहन एक विद्युत पोल से जा टकराया। इस दौरान आरोपी ने वाहन से कूदकर भागने का प्रयास किया लेकिन पुलिस ने उसे धर दबोचा। इस भागदौड़ में एक आरक्षक को चोट भी आई। पुलिस ने जब पिकअप वाहन की तलाशी ली तो उसमें से 5 क्विंटल 40 किलो डोड़ा चूरा मिला। वाहन के अंदर से फर्जी नंबरों की  प्लेट्स मिली, उसके इंजन और चेसिस नंबर भी नष्ट कर दिए गए थे। इस वाहन में इंजन में ऐसी तकनीक का इस्तेमाल किया गया था जिससे ईधन अधिक मात्रा में इंजन को मिलता है और वाहन की गति काफी तेज की जा सकती है। 

इस गिरफ्तार आरोपी का नाम घनश्याम (Ghanshyam Dhakad) पिता मांगीलाल धाकड़ (Mangilal Dhakad) निवासी मोतीपुरा, राजस्थान है। गौरतलब है कि आरोपी घनश्याम वही है जिसने वर्ष 2011 में खुद को एक्सीडेंट (accident)में मृत बताने का षड़यंत्र रचा था और खुद जिंदा घूम रहा था। उसका दूसरा साथी बंशी गुर्जर (Banshi Gurjar) भी एनकाउंटर में मृत बताया गया था। बाद में बंशी और घनश्याम दोनो को ही पुलिस ने जिंदा गिरफ्तार कर लिया था। इस मामले की जांच सीबीआई भी कर रही है। घनश्याम के विरुद्ध मादक पदार्थों की तस्करी के लगभग आधा दर्जन मामले दर्ज हैं। 

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