पन्ना। शासकीय स्वास्थ्य योजनाओ को धरातल पर साकार करने वाले और आपातकाल में मानव जीवन की रक्षा करने वाले संजीवनी 108 एम्बुलेन्स कर्मचारियो के हो रहे आर्थिक मानसिक एवं सामाजिक शोषण से मुक्ति पाने के लिए सौपा ज्ञापन और साथ ही अपनी मांग को लेकर संघ के द्वारा अपनी मांग रखी गयी और साथ ही कर्मचारियो द्वारा बताया गया कि इस पवित्र उद्देश्य को लेकर सर्वप्रथम हमारे महान देश भारत के आंध्रप्रदेश राज्य के हैदराबाद शहर में 15 अगस्त 2005 से आपातकालीन सेवा 108 एम्बुलेन्स का सर्वप्रथम सञ्चालन किया गया जो की वर्तमान में 15 राज्यो एवं 2 केंद्रशासित प्रदेशो में सफलता पूर्वक लगातार सेवाओ का सञ्चालन जारी है।
जिसके अंतर्गत हमारे मध्यप्रदेश में भी इस सेवा को वर्ष 2009 में हमारे मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के कर कमलो से शुरू किया गया प्रारम्भ से 20 अक्टूबर 2016 तक जी.व्ही.के.ई. एम. आर.आई.का कार्यकाल रहा एवं 21 अक्टूबर 2016 से जिगितसा हेल्थ केयर लिमिटेड कंपनी 6 तल कमला नेहरू अस्पताल हमीदिया परिसर का कार्यकाल वर्तमान समय में चल रहा है।
सितम्बर 2014 के आकड़ो के अनुसार इस सेवा के अंतर्गत
1,62,986 कॉल प्रतिदिन रिसीव किये जाते है
22,212 इमरजेंसी केश प्रतिदिन अटेंड किये है
5,839 एम्बुलेंस के द्वारा 9,21,215km की दूरी प्रतिदिन तय की जाती है
3,04,30,793इमरजेंसी केश अटेंड अब तक किये गए है।
1,1,06,352 बहुमूल्य जीवन इस सेवा के जरिये बचाये गए
3,27,221महिलाओ के सुरचक्षित प्रसव E M T के द्वारा कराये गए है
सितम्बर 2014 तक 108 एम्बुलेंस सेवा कर्मचारियो के द्वारा लगभग 3 करोड़ इमरजेंसी केशो में से 99 लाख 19 हजार 900 प्रेग्नेंसी केशो में लाभ पहुचाया गया है। इसके वावजूद भी 108 एम्बुलेंस के कर्मचारियो का शोषण किया जा रहा है और न ही कर्मचारियो का समय पर भुगतान किया जा रहा है। इससे कर्मचारियो को अपना जीवन यापन करने में कठनाई आ रही है और साथ ही लाचार वेवस कर्मचारी इतनी सेवाएं देने के बाद भी अपनी आपबीती बताने में मजबूर है।