
औरेया के भाटसान गांव निवासी विनोद राजावत हाल निवासी गोला का मंदिर ने बताया कि उनकी बहन बबली राजावत का एक समय चंबल के बीहड़ में नाम था। डकैत अरविंद गुर्जर गिरोह की अहम सदस्य थी। उनकी बहन ने वर्ष 2005 में भाजपा शासन के गृह राज्यमंत्री जगदीश देवड़ा व पंचायत मंत्री रुस्तम सिंह के समक्ष सरेंडर किया था। सरेंडर के समय गृह राज्यमंत्री ने बहन को लिखित में आश्वासन दिया था कि घर में किसी को भी पुलिस विभाग में अनुकंपा नियुक्ति दी जाएगी। बहन जेल चली गई और सरकार अपना किया वादा भूल गई।
आज 11 साल बाद भी मैं लगातार अफसरों, मंत्रियों के दरवाजों के चक्कर काट रहा हूं। गांव जा नहीं सकता नहीं तो पिता की तरह मेरी भी हत्या हो जाएगी। बिना नौकरी के यहां रह नहीं सकता। इसलिए मेरे आवेदन पर शीघ्र विचार करें। यदि वादाखिलाफी की गई तो विवश होकर मुझे भी बीहड़ में कूदना पड़ेगा।