भोपाल। आय से अधिक संपत्ति के मामले में जेल में बंद बर्खास्त आईएएस अफसर अरविंद जोशी की बहनों को पकड़ने के लिए लोकायुक्त पुलिस अदालत से उन्हें फरार घोषित करवाएगी। इसके लिए 19 सिंतबर को विशेष अदालत में होने वाली सुनवाई में दोनों के खिलाफ स्थायी वारंट जारी करने की मांग उठाई जाएगी। साथ ही भिंड के प्रदीप शर्मा के खिलाफ भी इसी तरह का कदम उठाया जाएगा। जोशी की दोनों बहनें विदेश में रहती हैं और जोशी ने इनके नाम पर जमीनें खरीदी थीं।
अरविंद जोशी के कोर्ट में सरेंडर करने के बाद लोकायुक्त पुलिस का पूरा फोकस विदेश में बसी आभाघानी और विभा जोशी पार्किन पर टिक गया है। दोनों के खिलाफ अदालत गिरफ्तारी वारंट जारी कर चुकी है। भारतीय दूतावास से इसके लिए लोकायुक्त ने संपर्क भी साधा पर कामयाबी नहीं मिली। बताया जा रहा है कि लुकआउट नोटिस जारी कराने के लिए स्थायी वारंट यानी फरार घोषित कराना होगा।
आभाघानी जर्मनी और विभा जोशी पार्किन इंग्लैंड में रहती हैं। लोकायुक्त पुलिस के अधिकारियों का कहना है कि जोशी ने दोनों बहनों के नाम पर जमीनें खरीदी थीं। जांच के दौरान दोनों से इन संपत्तियों के बारे में जवाब मांगा था, पर जवाब नहीं आया। इसी आधार पर लोकायुक्त पुलिस ने प्रकरण में जोशी बहनों को भी आरोपी बनाया है। इसी तरह जोशी के घर आयकर छापे के वक्त बरामद तीन करोड़ रुपए को अपना बताने वाले भिंड के प्रदीप शर्मा का भी कोई सुराग नहीं लगा है।
जोशी ने पूछताछ में बताया था कि उनके ई-5 स्थित घर को खरीदने के लिए प्रदीप ने साढ़े चार करोड़ रुपए अग्रिम दिए थे। शर्मा की तलाश में भिंड पहुंची लोकायुक्त टीम को पता लगा कि उसके दो भाई विदिशा में रहते हैं। भाइयों से पूछताछ में पता लगा कि उनका प्रदीप से 10-15 साल से संपर्क ही नहीं है। आस-पड़ोस वालों ने भी प्रदीप को यहां आते-जाते नहीं देखा है। लोकायुक्त पुलिस इन तीनों पर शिकंजा कसने के लिए अदालत से स्थायी वारंट जारी करने की मांग करेगी।