भोपाल। टिकिट के टंटों में उलझी कांग्रेस के मधुसूदन मिस्त्री ने कम से कम 82 टिकिट को फाइनल करवा ही दिए। स्क्रीनिंग कमेटी की दूसरी बैठक में 82 नाम ऐसे थे जिनके सामने कोई विकल्प नहीं था अत: इन्हें फाइनल माना जा रहा है।
दिग्गीपुत्र के लिए मूलसिंह हुए बीमार
राघौगढ़ से मौजूदा विधायक मूल सिंह के अस्वस्थता का हवाला देने के कारण कांग्रेस महासचिव दिग्विजय सिंह के पुत्र जयवर्धन सिंह और सैलाना से मौजूदा विधायक प्रभुदयाल गहलोत द्वारा उम्र का हवाला देते हुए अपने पुत्र हर्ष विजय को टिकट दिए जाने का पत्र आलाकमान को सौंपे जाने से दोनों नेता पुत्रों को टिकट मिलने का रास्ता साफ हो गया। वहीं युवक कांग्रेस की ओर से आए डेढ़ दर्जन नामों में से करीब 11 पर सहमति बनती नजर आ रही है।
इनकी सीट बदलेगी
सीट बदलने वाले मौजूदा विधायकों में बृजेन्द्र सिंह राठौर पृथ्वीपुर से निवाड़ी, बाला बच्चन पानसेमल से राजपुर, महेन्द्र सिंह कालूखेड़ा जावरा से मुंगावली के नाम शामिल हैं।
हरसूद से मंत्री विजय शाह के खिलाफ सूरजभानु सोलंकी का सिंगल नाम है।
इन विधायकों की सीट पर दो नाम :
हार की आशंका वाली मौजूदा विधायकों की सीटों पर कुछ जीतने योग्य उम्मीदवारों के नाम जुड़ गए हैं। रतलाम ग्रामीण से लक्ष्मीदेवी खराड़ी के साथ थावर भूरिया, मनासा से विजेन्द्र सिंह मालाहेड़ा के साथ पूर्व मंत्री नरेन्द्र नाहटा, महिदपुर से कल्पना परुलेकर के साथ दिनेश बोस, भैंसदेही से धरमू सिंह सिरसाम के साथ राहुल चौहान और राकेश पर्ते, बिछिया से नारायण पट्टा के साथ सावित्री धूमकेतू और शाहपुरा से गंगाबाई उरेती की बेटी कृष्णा का नाम भी चर्चा में आ गया है। देपालपुर से मौजूदा विधायक सत्यनारायण पटेल के साथ पूर्व विधायक जगदीश पटेल के पुत्र विशाल का नाम भी जुड़ा है। इन नए नामों पर अब तक कोई निर्णय नहीं हुआ है।
स्क्रीनिंग कमेटी में इन नामों पर बनी सहमति
विधायक -बृजराज सिंह-श्योपुर, रामनिवास रावत-विजयपुर, सुरेश चौधरी-सबलगढ़, एदल सिंह कंसाना-सुमावली, रणवीर सिंह-गोहद, डॉ गोविंद सिंह-लहार, प्रद्युमन सिंह तोमर-ग्वालियर, लाखन सिंह यादव-भितरवार, इमरती देवी सुमन-डबरा, केपी सिंह-पिछोर, शिवनारायण मीणा-चाचौड़ा, अरुणोदय चौबे-खुरई, गोविंद सिंह राजपूत-सुरखी, नारायण प्रजापति-बंडा, यादवेन्द्र सिंह-टीकमगढ़, विक्रम सिंह नातीराजा-राजनगर, अजय सिंह-चुरहट, बिसाहूलाल सिंह-अनूपपुर, संजय पाठक-विजयराघवगढ़, निशिथ पटेल-बोहरीबंद, लखन घनघोरिया-जबलपुर पूर्व, ओंकारसिंह मरकाम-डिंडौरी, प्रदीप जायसवाल-वारासिवनी, विश्वेश्वर भगत-कटंगी, एनपी प्रजापति-गोटेगांव, सुनील जायसवाल-नरसिंहपुर, साधना स्थापक-गाडरवारा, तेजीराम सरयाम-जुन्नारदेव, चौधरी मैर सिंह-चौरई, दीपक सक्सेना-छिंदवाड़ा, सुखदेव पांसे-मुलताई, भगवान सिंह राजपूत-उदयपुरा, प्रभुराम चौधरी-सांची, आरिफ अकील-भोपाल उत्तर, पुरूषोत्तम दांगी-ब्यावरा, हेमराज कलपानी-राजगढ़, प्रियव्रत सिंह-खिलचीपुर, हुकुम सिंह कराडा-शाजापुर, बाला ब\'चन-राजपुर, महेन्द्र सिंह कालूखेड़ा-मुंगावली, ब्रजेन्द्र सिंह-निवाड़ी, सुलोचना रावत-जोबट, जेवियर मेड़ा-झाबुआ, वीरसिंह भूरिया-थांदला, बालसिंह मेडा-पेटलावद, प्रताप ग्रेवाल-सरदारपुर, उमंग सिंघार-गंधवानी, पांचीलाल मेड़ा-धरमपुरी, राजवर्धन सिंह-बदनावर, अश्विन जोशी-इंदौर-3, तुलसीराम सिलावट-सांवेर, दिलीप सिंह गुर्जर-नागदा, रामलाल मालवीय-घटिया, लक्ष्मीदेवी खराड़ी-रतलाम ग्रामीण, सुभाष कुमार सोजतिया-गरोठ ।
एक हजार से कम मतों से पिछला चुनाव हारे सात नामों को हरी झंडी-
बालमुकुंद गौतम-धार((1 मत)), सोहनलाल वाल्मिकी-परासिया((93 मत)), चंद्रभान भैया-दमोह((130 मत)), राजेन्द्र सिंह बघेल-हाटपिपल्या((220)), रामसिंह यादव-कोलारस((238 मत)), श्रीनिवास तिवारी-सिरमौर((309 मत)) और प्रेमसिंह-चित्रकूट((722 मत))।
नेता पुत्रों के सिंगल नाम
जयवर्धन सिंह-राघौगढ़, सचिन यादव-कसरावद, रजनीश सिंह-केवलारी, अजीत भौरासी-आलोट, हर्ष विजय गेहलोत-सैलाना