रायसेन। विगत एक वर्ष पूर्व तत्कालीन खनिज निरिक्षक श्री बिसेन को डम्फर मालिक से रिश्वत के मामले में म.प. नगर के होटल मै रंगे हाथ पकड़ा था इस प्रकरण में लोकायुक्त पुलिस द्वारा वर्तमान खनिज अधिकारी प्रदीप तिवारी को अपने साथी खनिज निरिक्षक को बचाने के लिए की गई कार्रवाई को आधार बनाते हुए प्रदीप तिवारी सहित अन्य के खिलाफ विशेष न्यायालय में चालान प्रस्तुत किया है।
इस प्रकरण में उक्त अधिकारी ने अपने साथी को बचाने के लिए लोकायुक्त द्वारा जप्त की गई रिश्वत की राशि जिसे ट्रेप की कार्रवाई के दौरान जप्त किया गया था को एम ओ प्रदीप तिवारी एवं तत्कालीन अपर कलेक्टर द्वारा शासकीय होना बताया और लोकायुक्त को पत्र लिखकर इस राशि की वापिसी की मांग की गई जिसके आधार पर लोकायुक्त पुलिस ने विस्तृत विवेचना करते हुए खनिज अधिकारी प्रदीप तिवारी को भी प्रकरण में आरोपी बनाया है।पहले भी हो चुकी है कार्रवाई: सूत्रों की माने तो खनिज अधिकारी पर पूर्व में अन्य जिलों में पदस्थ रहने के दौरान लोकायुक्त की कार्रवाई विचारधीन है और जिले की ही फाईलों को अगर खंगाला जाए तो कई बड़े घोटाले सामने आ जाएंगे।
अब तक क्यों नहीं हुई निलंबन की कार्रवाई:लोकायुक्त द्वारा भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत उक्त अधिकारी के खिलाफ चालान पेश करने के बाद निलंबन की तलवार लटक रही है और यह अपनी चटुकारिता और जिले मै रहते हुऐ की गयी काली कमाई से उपर बैठे अधिकारीयों की जेब भरने के चलते निलंबन से बचे हुए है जबकि लोकायुक्त डीएसपी से चर्चा के बाद उनका कहना था कि भ्रष्टाचार अधिनियम चालान पेश होने से पूर्व विभाग को सूचना होती है और चालान से पूर्व ही निलंबन की कार्रवाई होती है। परन्तु वह क्या कारण है कि उक्त अधिकारी पर अभी तक इस प्रकार की कोई कार्रवाई नहीं की गई और वह आज भी कुर्सी पर बैठकर दिनों दिन खनिज माफिया को सहयोग प्रदान कर रहे है या यू कहा जय की जिले के खनिज माफिया का साइलेंट पार्टनर बन कर शासन के राजस्व को चूना ही लगा रहे है साथ साथ प्रकरण मै होने वाली कार्यवाही को भी प्रभावित कर रहा है
रायसेन जिला वैसे तो खनिज संपदा के मामले में धनी है जिले की राजनीति में पकड़ रखने वाले बड़े बड़े खनिज माफिया खनिज अधिकारी से मिलीभगत कर धड़ल्ले से अवैध उत्खन्न कर चांदी काट रहे है।जिस मै ज़ियादाटर सत्ताधरी दल के नेता या फीर पदाधिकारी है जो ऐसे अधिकारी की साथ ही मंत्री इस्तर पर मदद भी करते है ऐसे ही नेताओं की शे पर उक्त भिरष्ट अधिकारी माफियाओं का साइलेंट पार्टनर बन सरकार की कीर किरी कर रहा है
अब देखना ये है की इस अधिकारी को कब तक निलंबित करेगी या फीर यूँ ही मिलजुल कर चुनाव का चंदा करवाती रहेगी आने वाला समय बतायगा
खुले आम दोड़ रहे डम्फर ;-जहाँ तहसील रायसेन मै 2 खदाने मुरम की है वो भी नीलाम की पर उन मै मुरम नहीं पाई जाती है इस के बावजूद मुख्यालय पर चल रहे ज़यादातर निर्माण कार्यों मै लग रही मुरम कहाँ से लायी जा रही है ये देखने की फुरसत ना ही खनिज अधिकारी को है और न ही खनिज निरीक्षक को अधिकारी को रोज़ भोपाल जाना है और निरीक्षक को घर से ही फुर्सत नहीं जब सबकुछ मिलजुल कर चल रहा हो तो बिल्ली के गले मै कोन घंटी बांधे ????
ओवर वार्डन का खेल ;-जिले मै मिली भगत से ओवर वार्डन का खेल जमकर चल रहा है इस के ही नाम से इन दिनों ग्राम भुअरा के नज़दीक पठार से अवैध मुरम खोदकर सत्ताधारी दल के सफैदपोश नेता इस काम को अंजाम दे रहे है जब की ओवर वार्डन पत्थर खदानों से निकल ने वाला अनुपयोगी खनीज होता है पर रोयल्टी कही की माल मुरम कहीं से खोद कर जमकर चांदी तो काटी ही जा रही है साथ ही राजस्व की भी जमकर चोरी हो रही है !