कुछ मामले तो बस गजब ही होते हैं। शनिदेव न्याय के देवता हैं, कर्म फल दाता हैं। यदि आप कोई पाप करते हैं तो शनि देव आपके जीवन में उसके लिए आपको दंडित करते हैं। इसके बाद भी मध्य प्रदेश के उज्जैन में पंचायत विभाग के कर्मचारियों ने शनिवार के दिन, शनि मंदिर में दर्शन करने के बाद, रिश्वत वसूल की।
प्रधानमंत्री आवास योजना: 40000 की सहायता के बदले ₹15000 रिश्वत की मांग
लोकायुक्त डीएसपी दिनेश चंद्र पटेल ने बताया कि मंगलवार को आगर मालवा की सुसनेर तहसील के ग्राम कंवराखेड़ी निवासी राजेश दांगी ने उज्जैन लोकायुक्त एसपी से शिकायत की थी। उन्होंने शिकायत में बताया था कि मेरे भाई बालचंद दांगी के नाम से प्रधानमंत्री आवास योजना में आवास स्वीकृत हुआ था। जिसकी एक किस्त 25000 प्राप्त हो चुकी है। अगली किस्त 40 हजार जारी करने के एवज में रोजगार सहायक भगवान सिंह सोंधिया ने 15 हजार रुपए रिश्वत की मांगी थी।
उज्जैन के शनि मंदिर के अंदर रिश्वत मांगी
फरियादी राजेश दांगी ने बताया कि प्रधानमंत्री आवास के सरपंच और रोजगार सहायक ने किश्त के 40 हजार रुपए रोक दिए थे। जिसके बाद ट्रैप प्लान करने के बाद शनिवार सुबह रोजगार सहायक भगवान सिंह से बात की। उसने बताया कि शनिचरी अमावस्या है। वह शनि मंदिर में दर्शन करने जा रहा है। मैंने यह बात लोकायुक्त को बताई तो टीम ने उज्जैन में ट्रैप प्लान कर दिया। इसके बाद रोजगार सहायक से कहा कि आज मैं भी महाकाल मंदिर दर्शन करने जा रहा हूं। तब उसने ने शनि मंदिर में ही रिश्वत के रुपए लेने की बात कह दी। वह शनिचरी अमावस्या पर शनिवार को उज्जैन स्नान और शनि मंदिर में पूजन करने आया था। आरोपी ने पूजन के बाद फरियादी से मंदिर में ही रिश्वत की मांग की थी। यहीं पर लोकायुक्त ने रिश्वत लेते उसे गिरफ्तार किया है।
खास यह है कि जैसे ही उसने रिश्वत ली, पास ही खड़े लोकायुक्त डीएसपी ने आरोपी से पूछा कि रुपए गिन लिए, बराबर तो है ना? रोजगार सहायक ने भी जवाब दिया हां बराबर है। इसके बाद टीम आरोपी को पकड़कर पीडब्लूडी रेस्ट हाउस ले गई। वहां आगे कार्रवाई की गई है।