RTI - सूचना का अधिकार अधिनियम भ्रष्टाचार के खिलाफ और भ्रष्टाचार से लड़ने के लिए बनाया गया है लेकिन मध्य प्रदेश के जबलपुर में सूचना का अधिकार अधिनियम कितने जानकारी देने के बदले में रिश्वत मांगी जा रही है। जो कानून भ्रष्टाचार के खिलाफ बनाया गया है इस कानून के पालन के लिए रिश्वत मांगी गई।
RTI के तहत जानकारी देने के बदले रिश्वत मांगी
जबलपुर के जिला अस्पताल में सीएमएचओ ऑफिस में आरटीआई विभाग में पदस्थ महिला अधिकारी सुनीता विलियम ने आरटीआई के तहत मांगी गई एक जानकारी के एवज में राकेश विश्वकर्मा नाम के शख्स से 5 हजार रूपए की मांग की थी। जिसके बाद सौदा 4 हजार रूपये में तय हुआ था। शिकायतकर्ता राकेश विश्वकर्मा ने सुनीता विलियम के द्वारा रिश्वत मांगे जाने की शिकायत 2 मई को लोकायुक्त एसपी कार्यालय में की थी।
रिश्वत लेते पकड़ाईं मैडम सुनीता विलियम, चेहरा छिपाने लगीं
शिकायतकर्ता राकेश विश्वकर्मा की शिकायत की लोकायुक्त की टीम ने जांच की और जांच बिछाकर मंगलवार 6 मई को जिला अस्पताल में 4 हजार रूपये की रिश्वत लेते हुए महिला अधिकारी सुनीता विलियम को रंगेहाथों पकड़ लिया। जब लोकायुक्त ने रिश्वत लेते हुए मैडम को पकड़ा तो वो कपड़े से अपना चेहरा छिपाने लगीं। लोकायुक्त अधिकारी ने बताया कि कुछ कर्मचारियों की पदस्थापना संबंधी जानकारी शिकायतकर्ता ने आरटीआई के तहत मांगी थी और इसी की जानकारी देने के बदले में सुनीता विलयम ने उससे रिश्वत की मांग की थी। जिसको टीम ने रंगे हाथ चार हजार की रिश्वत लेते पकड़ा।
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