मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल के गोविंदपुर थाना क्षेत्र में स्थित बरखेड़ा पठानी बस्ती के लोगों ने एक पुलिस कर्मचारी को चारों तरफ से घेर लिया और लाठी-डंडा, बेल्ट-पत्थर, लात-घूसों से मारपीट शुरू कर दी। यह सभी लोग एक OLA CAB ड्राइवर के साथी है, जिसने पुलिस आरक्षक को लापरवाही से ओवरटेक किया था और प्रतिक्रिया में पुलिस आरक्षक चिल्ला दिया था।
OLA CAB ड्राइवर के गिरोह ने पुलिस आरक्षक को पीटा
गोविंदपुरा पुलिस के मुताबिक दीपक आचार्य (32) निवासी टैगोर नगर गोविंदपुरा डीसीपी जोन-2 श्रृद्धा तिवारी के कार्यालय में साइबर शाखा में पदस्थ हैं। शनिवार की रात को वह घर लौट रहे थे। बरखेड़ा पठानी में स्थित बस्ती के सामने मेन रोड पर अपनी बाइक से गुजरे ही थे कि औरा कार जो टैक्सी नंबर पर थी, के चालक ने उन्हें लापरवाही से ओवटैक किया। आवाज लगाकर गलत तरीके से वाहन चलाने का आरक्षक ने विरोध किया।इस पर आरोपी टैक्सी चालक ने वाहन को रोक लिया और बदसलूकी करना शुरू कर दिया।
विरोध करने पर टैक्सी ड्राइवर ने पुलिस कर्मचारी की मारपीट शुरू कर दी। इसी दौरान बस्ती से करीब दो-चार दिन लोग टैक्सी ड्राइवर के समर्थन में लाठी डंडे लेकर आ गए और आरक्षक को पटक कर चारों तरफ से मारपीट करने लगे। इसी दौरान आरक्षक के दो परिचित वहां से निकले। उन्होंने भीड़ से संघर्ष किया और आरक्षक को बचाया। पुलिस ने आरक्षक की शिकायत पर धारा 323, 294, 506, 34 के तहत केस दर्ज कर लिया है।
दोस्त मदद को नहीं आते तो भीड़ मेरी जान ले लेती...
आरक्षक दीपक आचार्य ने बताया कि बरखेड़ा पठानी में एक OLA CAB के चालक से ओवरटेक करने को लेकर विवाद हुआ था। मैने सामान्य रिएक्ट किया था कि गाड़ी देखकर चलाओ। इसी बात को लेकर चालक ने वाहन को रोका और कार से उतरकर बदसलूकी करने के बाद मुझे चांटा मार दिया। मैंने बचाव का प्रयास किया तो आरोपी ने शोर मचाकर वहीं स्थित बस्ती में रहने वाले कुछ अन्य युवकों को बुला लिया। मैं कुछ समझ पाता इससे पहले ही आरोपियों ने जिसके हाथ जो आया उससे पीटना शुरू कर दिया। आरोपी पत्थर, डंडे और बेल्ट से पीट रहे थे। देखते ही देखते हमलावरों की संख्या करीब 50 से अधिक हो गई।
आरोपियों ने मुझे जमीन पर लिटा रखा था। मेरे गले को एक युवक ने दबा दिया। भीड़ में ही शामिल एक युवक ने गला दबा रहे युवक को हटाया। मेरी कमर, पीठ, नाक, सिर और चेहरे में चोट आई हैं। इसी बीच कुछ युवक मेरे हाथ पांव पर बैठ गए। एक युवक बड़ा पत्थर हाथ में लेकर मेरे सिर को कुचलने ही वाला था कि मेरी कॉलोनी में रहने वाले अजय सिंह कुशवाह, विशाल विश्वकर्मा के साथ वहां से गुजरे।
मुझे घायल देख उन्होंने बचाने का प्रयास किया। पत्थर सिर में मारने के लिए आगे बढ़ रहे युवक को धक्का देकर उसके हाथ से पत्थर को गिरा दिया। इसके बाद भीड़ ने अजय और उसके साथियों पर भी हमला कर दिया। भगवान ने सही समय पर अजय को भेज दिया, नहीं तो आज शायद हीं मैं जिंदा होता।
पुलिसकर्मी हैं, बताया तो भीड़ और आक्रामक हो गई
घटना के चश्मदीद अजय सिंह कुशवाह ने बताया कि मैं और दोस्त विशाल विश्वकर्मा रात के समय बजरंग मार्केट से गुजर रहे थे। जहां भारी भीड़ किसी को मारती दिखी, हमने पास जाकर देखा तो लोग हमारे दोस्त दीपक को मार रहे थे। एक युवक बड़ा पत्थर हाथ में लेकर दीपक के सिर को कुचलने आगे बढ़ रहा था। उसे धक्का देकर पत्थर गिराया। लोगों को बताया, मत मारो इसे यह पुलिस डिपार्टमेंट है।
यह सुनने के बाद आरोपी और आक्रामक हो गए। उन्होंने मेरे साथी विशाल और मुझे भी पीटना शुरू कर दिया। इसके बाद भी आरोपी दीपक को पीटते रहे। इसी बीच एक अन्य पुलिसकर्मी वहां से निकला। उसने हमें बचाया, नहीं तो भीड़ दीपक की जान लेने पर आमादा थी। उनके हाथ में जो कुछ भी आ रहा था, उससे मारपीट कर रहे थे। हम किसी आरोपी को नहीं जानते हैं।
साधारण धाराओं में केस दर्ज
गोविंदपुरा थाना प्रभारी अवदेश सिंह तोमर ने बताया कि फिलहाल मारपीट की धाराओं में केस दर्ज किया गया है। फरियादी के डिटेल बयानों को दर्ज कर आगे वैधानिक कार्रवाई की जाएगी।