भूकंप, गर्मी के दिनों में ही क्यों आते हैं, भारत में पहले से ज्यादा क्यों आ रहे हैं, यहां पढ़िए- GK Today

Bhopal Samachar
0
हाल ही में भारत के कई इलाकों में भूकंप के झटके महसूस किए गए। कुछ भवनों की दीवारों में दरार भी आई है। वैज्ञानिकों ने कहा कि गर्मियां शुरू हो रही है। धरती में इस तरह का कंपन आम बात है क्योंकि टेक्टोनिक प्लेट्स सांस लेती हैं। आइए समझने की कोशिश करते हैं कि टेक्टोनिक प्लेट्स गर्मी के दिनों में ही क्यों सांस लेती हैं। 

गर्मियों में टेक्टोनिक प्लेटों के बीच की गैस रिलीज होती है

दुनियाभर के भूगर्भशास्त्रियों और भूकंप एक्सपर्ट्स का मानना है कि इस समय धरती की टेक्टोनिक प्लेटें खिसक रही हैं, जिसकी वजह से इतने भूकंप आ रहे हैं। गर्मियों का मौसम शुरू हो चुका है। ऐसे मौसम में अक्सर धरती के अंदर गतिविधियां बढ़ जाती हैं। कई बार दो टेक्टोनिक प्लेटों की बीच में बनी गैस या प्रेशर जब रिलीज होता है तब भी हमें भूकंप के झटके महसूस होते हैं। ये हालात गर्मियों में ज्यादा देखने को मिलते हैं।

भारत में पहले से ज्यादा भूकंप के झटके क्यों आ रहे हैं

हाल ही में एक रिपोर्ट आई थी कि भारतीय टेक्टोनिक प्लेट हिमालयन टेक्टोनिक प्लेट की तरफ खिसक रही है। इसकी वजह से हमें गर्मियों में ज्यादा झटके महसूस हो सकते हैं। इस रिपोर्ट के तत्काल बाद भारत के कई शहरों में भूकंप के झटके महसूस किए गए और यह प्रक्रिया लगातार जारी है।

भारत में कहां-कहां पर भूकंप का खतरा

सबसे ज्यादा भूकंप या गतिविधियों वाले स्थानों में कश्मीर घाटी का हिस्सा, हिमाचल प्रदेश का पश्चिमी हिस्सा, उत्तराखंड का पूर्वी हिस्सा, गुजरात का कच्छ, उत्तरी बिहार, सभी उत्तर-पूर्वी राज्य और अंडमान-निकोबार आते हैं।

दूसरे नंबर पर भूकंप का खतरा इन इलाकों में है- लद्दाख, जम्मू-कश्मीर का कुछ हिस्सा, हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड, हरियाणा और पंजाब के कुछ हिस्से, दिल्ली, सिक्किम, यूपी का उत्तरी हिस्सा, बिहार और पश्चिम बंगाल का कुछ हिस्सा, गुजरात और महाराष्ट्र का पश्चिमी हिस्सा और राजस्थान का सीमाई इलाका।

तीसरे नंबर पर दुर्गम का खतरा यहां पर है- केरल, लक्षद्वीप, उत्तर प्रदेश का निचला इलाका, गुजरात-पंजाब के कुछ हिस्से, पश्चिम बंगाल का हिस्सा, मध्यप्रदेश, उत्तरी झारखंड, छत्तीसगढ़, ओडिशा, आंध्र प्रदेश, तेलंगाना, तमिलनाडु और कर्नाटक।

उपरोक्त के अलावा भी कई राज्यों के छोटे-छोटे हिस्सों में भूकंप के झटके महसूस किए जाने की संभावना है। टेक्टोनिक प्लेटों के कारण भूकंप का केंद्र बदलता रहता है और उसकी तीव्रता पर निर्भर करता है कि वह कितने बड़े क्षेत्र को प्रभावित कर सकता है। 

✔ इसी प्रकार की जानकारियों और समाचार के लिए कृपया यहां क्लिक करके हमें गूगल न्यूज़ पर फॉलो करें एवं यहां क्लिक करके हमारा टेलीग्राम चैनल सब्सक्राइब करें। क्योंकि भोपाल समाचार के टेलीग्राम चैनल पर कुछ स्पेशल भी होता है। यहां क्लिक करके व्हाट्सएप ग्रुप ज्वाइन कर सकते हैं।
भोपाल समाचार से जुड़िए
कृपया गूगल न्यूज़ पर फॉलो करें यहां क्लिक करें
टेलीग्राम चैनल सब्सक्राइब करने के लिए यहां क्लिक करें
व्हाट्सएप ग्रुप ज्वाइन करने के लिए  यहां क्लिक करें
X-ट्विटर पर फॉलो करने के लिए यहां क्लिक करें
Facebook पर फॉलो करने के लिए यहां क्लिक करें
समाचार भेजें editorbhopalsamachar@gmail.com
जिलों में ब्यूरो/संवाददाता के लिए व्हाट्सएप करें 91652 24289

Post a Comment

0 Comments

Please Select Embedded Mode To show the Comment System.*

#buttons=(Ok, Go it!) #days=(20)

Our website uses cookies to enhance your experience. Check Now
Ok, Go it!