समग्र शिक्षक संघ फरवरी में बड़े आंदोलन की तैयारी कर रहा है - MP EMPLOYEE NEWS

भोपाल
। अपनी लंबित 14 सूत्रीय मांगो के समर्थन में प्रदेश भर के शिक्षक फरवरी में एक बड़ा आंदोलन कर सकते है। समग्र शिक्षक संघ के अनुसार फरवरी में प्रस्तावित चरणबद्घ आंदोलन की रणनीति और आम सहमति के लिए प्रदेश भर में जिला, संभागीय स्तर की बैठकों का आयोजन किया जा रहा है, चरणबद्ध आंदोलन के पूर्व प्रदेश भर में जिला कलेक्टर के माध्यम से मुख्यमंत्री और मुख्यसचिव के नाम ज्ञापन पत्र सौंपा जाएगा। 

यदि शासन की ओर से समयसीमा में शिक्षकों की मांगो को गंभीरता से नहीं लिया जाता है, तो फरवरी मे चरणबद्ध आंदोलन होना तय है, जो निर्णय होने तक जारी रहेगा, आगे की रणनीति के लिए फरवरी के प्रथम सप्ताह में प्रांतीय बैठक आयोजित की जाएगी,संघ के प्रदेश अध्यक्ष सुरेशचंद्र दुबे के अनुसार एक तरफ शासन शिक्षकों की अधिकांश मांगो को वर्षो से लंबित रखे हुए है, दूसरी ओर विभाग की गलत नीतियों के चलते सरकारी शिक्षक बुरी तरह प्रताड़ित हो रहे है, लगातार निजीकरण को बढ़ावा देने के लिए सरकारी स्कूलों को बन्द करने के साथ साथ सरकारी शिक्षकों की सेवाएं षडयंत्रपूर्वक समाप्त की जा रही है। 

यही कारण है कि प्रदेश के शिक्षकों को अपने अस्तित्व को बचाने के किए सड़क पर उतरने के लिए मजबूर होना पड़ रहा है, शिक्षकों की प्रमुख लंबित मांगो मे मुख्यमंत्री की 23 दिसंबर 2017 की घोषणा के अनुसार पदनाम देने, घोषणा के क्रियान्वयन को 3 वर्ष से अधिक समय तक लंबित रखने वाले विभाग के जवाबदेह अधिकारियों पर कार्रवाई करने,कोरॉना काल में रोकी गई वेतनवृद्धि बहाल करते हुए, लंबित 9% महंगाई भत्ते का लाभ निर्धारित तिथि से लागू करने, शिक्षक संवर्ग को राज्य शासन के अन्य कर्मचारियों की भांति 10, 20, 30 वर्ष की सेवा पर समयमान वेतनमान का लाभ प्रदान कर सहायक शिक्षकों को 30 वर्ष की सेवा पर 4200 के स्थान पर 5400 ग्रेड पे का लाभ देने, सहायक शिक्षकों के समतर पद व वेतनमान पर नियुक्ति पाने वाले प्रौढ़ शिक्षा के सुपरवाइजर और अन्य कर्मचारी जिन्हें शिक्षक पद पर समायोजित कर प्रथक से उच्चतर वेतनमान दिया गया, के समान सहायक शिक्षकों को भी उच्चतर वेतनमान का लाभ देने, अन्य कर्मचारियों के समान शिक्षक/ व्याख्याता संवर्ग को भी 300 दिवस के अर्जित अवकाश की पात्रता प्रदान कर अवकाश स्वीकृति के अधिकार जिला कलेक्टर के स्थान पर जिला शिक्षा अधिकारी/संकुल प्राचार्य को देने, सातवें वेतनमान के अनुसार गृह भाड़ा भत्त्ता स्वीकृति के आदेश जारी करने,छत्तीसगढ़ राज्य के समान प्रदेश के शिक्षक/ व्याख्याता संवर्ग को 8,16,24,32 वर्ष की सेवा पर चार स्तरीय वेतनमान स्वीकृत करने,पाँचवे वेतनमान में चली आ रही वेतन विसंगति दूर करने, 

अनुकम्पा नियुक्ति में पात्रता परीक्षा तथा प्रशिक्षण की अनिवार्यता को समाप्त करते हुए, पीड़ित परिवार के पात्र परिजन को पूर्व की भांति समय सीमा में नियुक्ति प्रदान करने, सर्वशिक्षा अभियान की प्रतिनियुक्ति में नियम विरुद्ध लागू किया गया आयु बंधन समाप्त कर वरिष्ठता के आधार पर प्रतिनियुक्ति देने, प्रदेश के कर्मचारियों को केंद्रीय कर्मचारियों की भांति स्वस्थ्य बीमा योजना लागू करने, शिक्षकों को गैर शैक्षणिक कार्यो से शिक्षकों को पूरी तरह मुक्त रखने, 55 वर्ष से अधिक आयु वर्ग के शिक्षकों को जोखिम वाले कार्यों,चुनाव ड्यूटी तथा स्थानांतरण से पूरी तरह मुक्त रखने, दक्षता परीक्षा के आधार पर शिक्षकों की सेवाएं समाप्त करने की नियम विरूध्द परम्परा को तत्काल समाप्त करने,सी एम् राइस तथा एक शाला एक परिसर जैसी योजनाओ के नाम पर सरकारी स्कूलों को बन्द करने की प्रक्रिया पर रोक लगाने जैसी! मांगे शामिल हैं !

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