ठंड में सुबह उठने का वैज्ञानिक तरीका, ताकि हार्टअटैक ना आए | Scientific way to get up in the morning in the cold

क्या आप जानते हैं सर्दी के मौसम में सुबह बिस्तर छोड़ने का भी अपना एक तरीका होता है। यदि आप इसका पालन नहीं करेंगे तो बीमार हो जाएंगे। आप को हार्टअटैक भी आ सकता है। आइए जानते हैं ठंड के मौसम में सुबह उठते समय क्या करना चाहिए: 

जनरल फिजिशियन डॉक्टर विजय राजपूत बताते हैं कि भीषण ठंड में जिनकी आयु 45 वर्ष से अधिक है, जब भी बिस्तर से उठे, तब आप एकदम से ना उठे। क्योँकि ठंड के कारण शरीर का ब्लड गाढ़ा हो जाता है तो वह धीरे धीरे कार्य करने के कारण पूरी तरह हार्ट में नहीं पहुँच पाता और शरीर छूट जाता है। इसी कारण से शर्दी के महीनों में 45 वर्ष से ऊपर के लोगों की ह्रदयगति रुकने से दुर्घटनाए अत्यधिक होती पाई गई हैं, इसलिए हमें सावधानी अत्यधिक बरतने की आवश्यकता है। यही सुझाव में भी देता हूं।

रात में या सुबह उठते टॉयलेट जाना हो तो क्या करें

हर एक व्यक्ति को पहले साढ़े तीन मिनिट में सावधानी बरतनी चाहिए।
यही साढ़े तीन मिनिट अकस्माक होने वाली मौतों की संख्या कम कर सकते हैं।
जब-जब ऐसी घटना हुई हैं, परिणाम स्वरूप तंदुरुस्त व्यक्ति भी रात में ही मृत पाया गया हैं।
ऐसे लोगों के बारे में हम कहते हैं, कि कल ही हमने इनसे बात की थी। ऐसा अचानक क्या हुआ? यह कैसे मर गया?
इसका मुख्य कारण यह है कि रात मे जब भी हम मूत्र विसर्जन के लिए जाते हैं, तब अचनाक या ताबड़तोब उठते हैं, परिणाम स्वरूप मस्तिष्क तक रक्त नही पहुंचता है।
शुरुआत के साढ़े तीन मिनिट बहुत महत्वपूर्ण होते हैं।
मध्य रात्रि जब हम पेशाब करने उठते है तो हमारा ईसीजी का पैटर्न बदल सकता है। इसका कारण यह है, कि अचानक खड़े होने पर मस्तिष्क को रक्त नहीं पहुच पाता और हमारे ह्रदय की क्रिया बंद हो जाती है।

सर्दी के मौसम में बिस्तर छोड़ने का सही तरीका क्या है

1. नींद से उठते समय आधा मिनिट गद्दे पर लेटे हुए रहिए।
2. अगले आधा मिनिट गद्दे पर बैठिये।
3. अगले अढाई मिनिट पैर को गद्दे के नीचे झूलते छोड़िये।
साढ़े तीन मिनिट के बाद आपका मस्तिष्क बिना खून का नहीं रहेगा और ह्रदय की क्रिया भी बंद नहीं होगी! इससे अचानक होने वाली मौतें भी कम होंगी।

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