राधेश्याम जुलानिया डेप्यूटेशन पर जाएंगे, मोहंती होंगे मप्र के नए सीएस | MP NEWS

भोपाल। मध्यप्रदेश में सर्वाधिक विरोध प्रदर्शन का सामना करने वाले आईएएस राधेश्याम जुलानिया अब डेप्यूटेशन पर जा रहे हैं। इसके साथ ही माध्यमिक शिक्षा मंडल के अध्यक्ष व 1982 बैच के सीनियर आईएएस अधिकारी एसआर मोहंती का मप्र का नया मुख्य सचिव बनना लगभग तय हो गया है। मुख्यमंत्री कमलनाथ ने शनिवार को इसकी मंजूरी दे दी। सोमवार को इसके आदेश जारी हो सकते हैं। 

मुख्य सचिव पद की दौड़ में रहे जल संसाधन विभाग के अपर मुख्य सचिव राधेश्याम जुलानिया अब केंद्र सरकार में प्रतिनियुक्ति पर जाएंगे। मुख्यमंत्री ने मोहंती को मुख्य सचिव बनाने की फाइल के साथ जुलानिया के प्रतिनियुक्ति पर जाने के आवेदन को भी स्वीकृति दे दी। अब केंद्र सरकार का बुलावा आते ही वे रवाना होंगे। जुलानिया 1985 बैच के आईएएस अधिकारी हैं।

शिवराज ने जुलानिया को जाने से रोक​ लिया था
केंद्र सरकार में सचिव पद के लिए मई 2017 में इंपैनल हुए तीन अधिकारियों में इकबाल सिंह बैंस और दीपक खांडेकर के साथ जुलानिया भी रहे, लेकिन तब तत्कालीन मुख्यमंत्री शिवराज सिंह के शासन में उन्होंने प्रतिनियुक्ति पर जाने का विचार नहीं किया। तब उनसे वरिष्ठ व 1984 बैच के आईएएस अधिकारी बीपी सिंह को शिवराज ने मुख्य सचिव बनाया था। 

कमलनाथ को जुलानिया से ज्यादा मोहंती पर भरोसा
जुलानिया के रिटायरमेंट में अभी पौने तीन साल बचे हैं। बताया जा रहा है कि यदि दो साल से कम सेवा बची हो तो प्रतिनियुक्ति पर जाना कठिन होता है, इसलिए चार दिन पहले दिए आवेदन को जुलानिया ने खुद कमलनाथ से मिलकर स्वीकृत कराया। जुलानिया 2002 से 2007 तक केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर रह चुके हैं। इस दौरान वे केंद्रीय मंत्री रहे कमलनाथ के साथ काम कर चुके हैं, लेकिन मप्र के मुख्य सचिव की नियुक्ति के मामले में कमलनाथ ने जुलानिया की तुलना में मोहंती पर भरोसा दिखाया।

अब इकबाल बचे 
सचिव पद के लिए इंपेनल हुए अधिकारियों में अब सिर्फ इकबाल सिंह बैंस ही मप्र में बचे हैं। वर्तमान मुख्य सचिव बीपी सिंह को छह माह का एक्सटेंशन मिलने के दौरान ही दीपक खांडेकर केंद्र सरकार में चले गए थे। अब जुलानिया जाएंगे।

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