
पुलिस का कहना है कि रामनरेश पुत्र गोरे धाकड़, बीआरसी केशव सिंह यादव का अच्छा दोस्त था। जुए में पैसे हार जाने के बाद रामनरेश को पैसे की आवश्यकता थी। इसलिए उसने अपने दोस्त पप्पू उर्फ रणवीर धाकड़ से बात की और बीआरसी केशव सिहं को लूटने का प्लान बनाया। पुलिस के अनुसार पप्पू अपराधी किस्म का व्यक्ति है इसके ऊपर बाहरी जिलों में लूट व अपहरण की संगीन वारदातें दर्ज है। लूट की नियत से रामनरेश 17 फरवरी की शाम केशव सिंह को घर से बुलाकर मुरैना ब्रांच कैनाल (नहर) के पास ले गए और वहां बैठकर शराब का सेवन किया। इसी दौरान पप्पू ने एक डंडा लाकर पीछे से केशव सिहं के सिर पर जोरदार प्रहार किया जिससे उनकी मौत हो गई। इसके बाद दोनों आरोपियों ने डेडबॉडी को उठाकर एक खेत में फेंक दिया और शरीर से सोने की अंगूठियां, चेन व ब्रेसलेट उतारकर आपस में बांटा और फरार हो गए।
परिवार को नहीं बताया कि बीआरसी की हो गई हत्या
बीआरसी का शव पुलिस ने पीएम हाउस में लाकर रख दिया लेकिन बीआरसी केशव सिंह की पत्नि कपूरी देवी व बेटा संजय अभी इस बात से अनभिज्ञ हैं कि उनके मुखिया की हत्या हो गई है। रिश्तेदारों ने परिजन को इस सच्चाई से इसलिए दूर रखा है। पीएम होने के बाद ही वह उन्हें इस सच्चाई से वाकिफ करा पाएंगे।
हत्या के बाद जयपुर भाग गए थे दोनों बदमाश
पुलिस बता रही है कि बदमाशों ने पहले सुमावली व उसके आसपास के क्षेत्र में इधर-उधर छिपकर बचने का प्रयास किया लेकिन एक दबिश के दौरान आरोपी भागे और जैसे-तैसे जयपुर निकल गए। पुलिस इन्हें जयपुर से ही पकड़कर लाई है। पूछताछ में आरोपियों ने अपना गुनाह कबूला। आरोपियों से केशव सिंह के गहने भी बरामद हो गए हैं।
रुपयों के लिए की गई बीआरसी की हत्या
बीआरसी की डेडबॉडी खेत में मिली है। रामनरेश को पैसों की जरूरत थी इसलिए उसने पप्पू के साथ मिलकर उन्हें मौत के घाट उतार दिया। डेडबॉडी निर्वस्त्र इसलिए मिली है क्योंकि आरोपियों ने हत्या के बाद पहचान छिपाने के लिए कपड़े फाड़कर फेंक दिए थे। जिन्हें बरामद कर लिया है। आदित्यप्रताप सिंह, एसपी मुरैना
दोनो आरोपियों ने बताई अलग-अलग कहानी
दैनिक भास्कर ने जब सिविल लाइन थाने पहुंचकर आरोपी रामनरेश व पप्पू से बात की तो पप्पू ने बताया कि रामनरेश को पैसे की जरूरत थी इसलिए उसने मेरे साथ मिलकर उसे मारने का प्लान बनाया था। लेकिन पप्पू की इस बात को रामनरेश ने झुठला दिया। उसने कहा कि मुझे तो बीआरसी केशव सिंह जब भी पैसे की जरूरत होती थी उधार दे देते थे। हम तो खेत में बैठकर शराब पी रहे थे। इसी दौरान पप्पू ने जाने क्यों सिर पर लाठी मारकर उन्हें मौत के घाट उतार दिया। आरोपियों से कुछ और सवाल होते तब तक उसे लेकर लॉकअप में बंद कर दिया गया।