भोपाल। राजधानी में इन दिनों भाजपा के 2 दिग्गज नेता मध्य विधायक सुरेन्द्र नाथ सिंह एवं महापौर आलोक शर्मा के बीच तनातनी खासी चर्चा का विषय बनी हुई है। आलोक ने मध्य क्षेत्र में अतिक्रमण विरोधी अभियान चलाते हुए करीब 100 से ज्यादा गुमटियों को हटा दिया तो सुरेन्द्र ने अपने समर्थकों के साथ मिलकर नगर निगम का स्टोर लुटवा दिया। यहां अतिक्रमण अभियान के तहत जब्त की गईं 50 गुमटियां रखीं हुईं थीं। सवाल यह है कि भाजपा के ये दोनों दिग्गज आपस में लड़ क्यों रहे हैं।
चर्चा है कि मध्य क्षेत्र में अवैध गुमटियां कमाई का सबसे बड़ा साधन हैं। एक गुमटी के लिए 3000 से लेकर 5000 तक प्रतिमाह कमाई होती है। इस तरह करीब 3 लाख रुपए प्रतिमाह की अवैध कमाई होती है। कहा जा रहा है कि यह सारी कमाई मध्यक्षेत्र के विधायक के पास जा रही है। जबकि महापौर होने के कारण आलोक शर्मा चाहते हैं कि यह कमाई उनके पास आए। इसी बात को लेकर तनातनी चल रही है। पहले बयानबाजियां हुईं, फिर कार्रवाईयां शुरू हो गईं। महापौर ने अपने पद की पॉवर दिखाई तो सुरेन्द्र सिंह ने भी पब्लिक की पॉवर दिखा दी। सच क्या है, गलत क्या यह तो दोनों नेता ही जानें परंतु बाजार में चर्चा तो यही है।
एक दूसरी बात जो सुरेन्द्र नाथ सिंह के समर्थक बता रहे हैं। उनका कहना है कि आलोक शर्मा की नजर मध्यक्षेत्र सीट पर है। वो यहां से विधानसभा चुनाव लड़ना चाहते हैं। इसलिए सुरेन्द्र नाथ सिंह का जनाधार खराब करके अपना बना रहे हैं।