इंदौर। सरकारी अस्पतालों का काम संभाल रहे संविदा कर्मचारियों को एक बार फिर भर्ती परीक्षा देनी होगी। पास हो गए तो अनुबंध जारी रहेगा अन्यथा नमस्ते। इस पॉलिसी में नर्स से लेकर डॉक्टर्स तक सबको शामिल किया गया है। इंदौर संभाग में लगभग साढ़े चार हजार संविदा डॉक्टर और कर्मचारी हैं। 31 मार्च को इनका एक साल का कांट्रैक्ट खत्म हो चुका है।
दक्ष डॉक्टर और स्टाफ रहे, इसलिए प्रयोग
स्वास्थ्य विभाग के संयुक्त संचालक डॉ. शरद पंडित के मुताबिक, अस्पतालों में दक्ष डॉक्टर और स्टाफ रहे, इसके लिए यह प्रयोग किया जा रहा है। संविदा कर्मचारियों को अनुबंध बढ़ाने के लिए तय मानदंड पूरे करना जरूरी हैं, अगर 65 फीसदी अंक नहीं आते हैं तो फिर से अनुबंध नहीं हो पाएगा। संविदा डॉक्टर व कर्मचारियों को प्रश्न व पैटर्न पहले ही बताया जा चुका है।
5 से 9 अप्रैल तक जिला अस्पताल में होगी परीक्षा
5 से 9 अप्रैल तक जिला अस्पताल में परीक्षा होगी। इसमें डॉक्टर और कर्मचारियों का बेसिक ज्ञान परखा जाएगा। उनके हेडक्वार्टर पर रहने की जानकारी से लेकर बीपी चेक, गर्भवतियों में एनीमिया की जांच, टीकाकरण, दवाओं, डाटा एंट्री आदि की जानकारी ली जाएगी। दूसरे जिले की विशेषज्ञों की टीम परीक्षा लेने आएंगे। इंदौर के अधिकारी अन्य जिले में जाएंगे।
55-65 फीसदी के बीच आने पर तीन महीने की मोहलत
परीक्षा में अगर रिजल्ट 55 से 65 फीसदी के बीच होगा तो तीन महीने, यानी 30 जून तक कार्यकाल बढ़ाया जाएगा। इस दौरान फिर से उनका प्रदर्शन परखा जाएगा। सुधार होने पर फिर से 9 माह का समय दिया जाएगा। वरना अनुबंध समाप्त कर दिया जाएगा। 55 फीसदी से कम अंक होने पर अनुबंध खत्म हो जाएगा।