सिंहस्थ: प्रमुख सचिव पर भड़के मुख्यमंत्री

भोपाल। "वहां सिंहस्थ में संत समाज पानी की सप्लाई की शिकायत कर रहा है और आप यहां विभाग की परेशानियां गिना रहे हैं। नल लगाने की सभी प्रक्रियाएं भी पूरी हो गईं, इसके बाद भी काम क्यों पूरा नहीं हुआ। जिम्मेदारी टालने से काम नहीं चलेगा। जनहित में निर्णय नहीं ले सकते तो हट जाइए विभाग से।"

नाराजगी भरी ये फटकार है मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की। वह सिंहस्थ की कैबिनेट कमेटी की बैठक में पीएचई प्रमुख सचिव अश्विनी राय पर नाराज हो गए। मुख्यमंत्री ने बैठक में मौजूद मुख्य सचिव अंटोनी डिसा से कहा कि आप सम्हालिए इन्हें या हटाइए। सीएस से उन्होंने यह भी कहा कि नलजल का पेंडिंग काम आप समय पर निपटाएं।

विधानसभा में गुरुवार को सिंहस्थ की कैबिनेट कमेटी की बैठक में प्रभारी मंत्री भूपेंद्र सिंह, जलसंसाधन मंत्री जयंत मलैया, राजेंद्र शुक्ल लालसिंह आर्य, एसीएस एसआर मोहंती, राधेश्याम जुलानिया सहित सभी विभागों के प्रमुख सचिवों के साथ मुख्यमंत्री ने निर्माण कार्यों की समीक्षा की। इस दौरान जब पीएचई विभाग की बारी आई तो सीएम नाराज हो गए। उन्होंने कहा कि दो मार्च को उज्जैन भ्रमण के दौरान संतों ने शिकायत की थी कि अखाड़ों सहित पूरे सिंहस्थ क्षेत्र में अब तक नल नहीं लगे हैं।

पीएस ने इसकी जिम्मेदारी नगरीय प्रशासन विभाग की ओर टालना चाही तो सीएम भड़क गए। सीएम ने सीएस की ओर इशारा कर कहा कि ये प्रमुख सचिव स्तर के अधिकारी होकर निर्णय नहीं ले सकते हैं। सिंहस्थ प्रदेश की प्रतिष्ठा से जुड़ा विषय है। इसमें किसी भी प्रकार की कोई कमी बर्दाश्त नहीं की जाएगी। पिछले चार साल से काम चल रहा है, अब अंतिम समय में कोई बहाना नहीं चलेगा।

#buttons=(Accept !) #days=(20)

Our website uses cookies to enhance your experience. Check Now
Accept !