भोपाल। सीएम शिवराज सिंह चौहान द्वारा राजधानी के निर्धारित स्थल से बाहर उज्जैनी गांव में आयोजित की गई केबीनेट मीटिंग पर भाजपा एवं संघ ने ही आपत्ति जताई है। संघ के कुछ प्रचारकों का मानना है कि ऐसा करना उचित नहीं है, यह तो अरविंद केजरीवाल जैसा ही हुआ।
संघ के कुछ प्रचारकों का मानना है कि शिवराज सिंह चौहान में इन दिनों अतिउत्साह दिखाई दे रहा है। उज्जैनी में केबीनेट मीटिंग की कोई जरूरत नहीं थी और ना ही यह कदम उचित कहा जा सकता है। यदि इसे उचित ठहराया गया तो केजरीवाल का खुले मैदान में जनलोकपाल बिल पास कराने की योजना को भी उचित कहना पड़ेगा।
कुल मिलाकर शिवराज की उज्जैनी केबीनेट के आयोजन पर सवाल खड़े हो गए हैं। चर्चा भी शुरू हो गई है। नतीजा भले ही कुछ ना आए लेकिन एक दाग तो लग ही गया।