भोपाल. यदि मुझे कुछ हो जाता है तो भाई मेरा अंतिम संस्कार करे। मेरी मौत के लिए कोई जिम्मेदार नहीं है। पीपुल्स मेडिकल कॉलेज में एमबीबीएस की छात्रा ने फांसी लगाने से पहले छोड़े सुसाइड नोट में कुछ ऐसा ही जिक्र किया है। शुक्रवार शाम उसने कॉलेज के हॉस्टल में फांसी लगाकर अपनी जान दे दी।
कांकेर, छत्तीसगढ़ निवासी 21 वर्षीय नीतू सिंह बघेल पीपुल्स मेडिकल कॉलेज स्थित बी-ब्लॉक में रहती थी। सीएसपी मलकीत सिंह ने बताया कि वह मेडिकल कॉलेज में एमबीबीएस प्रथम वर्ष की छात्रा थी। शुक्रवार शाम उसने अपने कमरे में उस वक्त दुपट्टे का फंदा बनाकर फांसी लगा ली, जब उसकी रूममेट अपने घर गई हुई थी।
बगल के कमरों में रहने वाली छात्राओं ने जब उसके दरवाजे पर दस्तक दी तो कोई रिस्पांस नहीं मिला। अंदर झांकने पर फांसी लगाने का पता चला। मौके पर पहुंची निशातपुरा पुलिस ने शव कब्जे में लेकर उसे पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। पुलिस को उसके बेड पर एक किताब में रखा सुसाइड नोट मिला है। करीब पौन पेज के सुसाइड नोट में उसने अपनी मर्जी से यह कदम उठाने का जिक्र किया है।
दो पेपर में नहीं हो पाई पास
सीएसपी ने बताया कि नीतू ने वर्ष 2011 में एमबीबीएस प्रथम वर्ष में दाखिला लिया था। दो पेपर में वह पास भी नहीं हो पाई थी और जल्द ही उसके पेपर भी होने वाले थे। बताया जा रहा है कि इस बात को लेकर वह अक्सर परेशान भी रहती थी। पुलिस ने उसके कमरे से कुछ दवाएं और एक डायरी भी जब्त की है। पुलिस अब यह भी जांच कर रही है कि उसकी खुदकुशी के पीछे कोई और वजह तो नहीं?
