नई दिल्ली, 16 नवंबर 2025: राज्य की व्यवस्था को बनाए रखने के लिए कर्मचारियों के स्थानांतरण पर प्रतिबंध लगा दिया जाता है। कैबिनेट की मंजूरी से साल में एक बार प्रतिबंध हटाया जाता है, लेकिन इस प्रकार का प्रतिबंध ट्राइबल अथवा कठिन क्षेत्र में तैनात कर्मचारियों पर लागू नहीं होता। यदि उनका सेवा कल पूरा हो गया है तो उनको सामान्य क्षेत्र में पोस्टिंग का अधिकार है। यह फैसला हाई कोर्ट ने दिया है।
हिमाचल प्रदेश हाईकोर्ट में ग्राम पंचायत सिल्हबुधानी, शिक्षा खंड द्रंग-II, तहसील पधर, जिला मंडी, में सेवारत जेबीटी शिक्षक महेश्वर सिंह द्वारा याचिका दाखिल की गई थी। याचिकाकर्ता द्वारा अपेक्षित कार्यकाल पूरा होने पर कठिन क्षेत्र से स्थानांतरण की मांग करने वाले उसके अभ्यावेदन को स्कूल शिक्षा निदेशक ने 01.11.2025 को निम्नलिखित दो आधारों पर खारिज कर दिया था। पहला - राज्य अधिसूचना दिनांक 04.06.2025 के तहत स्थानांतरण पर प्रतिबंध लगा हुआ है। दूसरा - जिस स्कूल से प्रार्थी तबादला चाहता है वह एकल शिक्षक वाला स्कूल है। कोर्ट ने मामले से जुड़ा रिकॉर्ड देखने के बाद कहा कि दी गई स्थिति में, तबादलों पर तथाकथित प्रतिबंध, याचिकाकर्ता के स्थानांतरण में बाधा नहीं बनेगा, खासकर तब जब उसने दुर्गम/कठिन क्षेत्रों में सेवा के लिए निर्धारित कार्यकाल पूरा कर लिया हो।
कोर्ट ने कहा कि इसके अलावा, एकल शिक्षक वाला स्कूल होना भी याचिकाकर्ता के स्थानांतरण में बाधा नहीं बनेगा, क्योंकि प्रतिवादियों को यह सुनिश्चित करना होगा कि वहां किसी अन्य की नियुक्ति हो, न कि याचिकाकर्ता को निर्धारित कार्यकाल से कहीं अधिक दुर्गम क्षेत्र में सेवा जारी रखने के लिए बाध्य किया जाए। फैसला न्यायाधीश ज्योत्सना रिवाल दुआ द्वारा सुनाया गया।
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