मध्य प्रदेश कांग्रेस पार्टी में इस तरह के पत्र और बयान तक जारी होते हैं जब इसकी मंजूरी हाईकमान से मिल चुकी हो। मध्यप्रदेश में कांग्रेस पार्टी के हाईकमान कमलनाथ है और रीवा के जिलाध्यक्ष ने कमलनाथ को रीवा विधानसभा से चुनाव लड़ने के लिए निमंत्रण पत्र भेजा है। अब सवाल यह उठता है कि क्या कमलनाथ छिंदवाड़ा छोड़कर रीवा से चुनाव लड़ेंगे या फिर छिंदवाड़ा और रीवा दोनों विधानसभा सीटों से एक साथ चुनाव लड़ेंगे।
कमलनाथ के जमाने में यह बहुत होता था
जब दिल्ली में था कांग्रेस पार्टी मजबूती और कमलनाथ कांग्रेस पार्टी हाईकमान के आसपास पावरफुल पोजीशन में रहा करते थे तब कांग्रेस पार्टी में ऐसा बहुत होता था। जब कोई बड़ा नेता अपनी परंपरागत सीट पर कमजोर हो जाता था तो दूसरी विधानसभाओं से उसे इसी प्रकार बुलाया जाता था।
मध्य प्रदेश की राजनीति के इतिहास में कैलाश वासी माधवराव सिंधिया का किस्सा भी कुछ इसी प्रकार से सुनाया जाता है। जब जय भान सिंह पवैया की लोकप्रियता के कारण माधवराव सिंधिया की स्थिति कमजोर हुई तो उन्हें गुना लोकसभा सीट के कार्यकर्ताओं द्वारा इसी प्रकार बुलाया गया और बाद में माधवराव सिंधिया ग्वालियर छोड़कर गुना लोकसभा से चुनाव लड़े।
गुरमीत सिंह "मंगू" अध्यक्ष जिला शहर कांग्रेस कमेटी ने अपने पत्र में लिखा है कि, राजनीति का गढ़ माने जाने वाला विंध्य की पूर्व राजधानी रीवा में छिंदवाड़ा विकास मॉडल की तर्ज पर जनता के हित में विकास की अविरल धारा विधानसभा चुनाव 2023 के बाद प्रवाहित हो और रीवा वास्तविक में इंदौर और भोपाल की तर्ज में महानगर का रूप ले इसके लिए जिला शहर कांग्रेस कमेटी विनम्रता पूर्वक रीवा विधानसभा की जनता की तरफ से आपसे यह मांग करती है कि रीवा विधानसभा से 2023 में कांग्रेस पार्टी की ओर से माननीय आप स्वयं प्रत्याशी होकर रीवा को गोद लेकर विंध्य की जनता को विकास की नई सौगात प्रदान करें।
जिससे भारतीय जनता पार्टी की जमीनी हकीकत जनता के समक्ष उजागर हो सके। रीवा की जनता को आपके विशेष स्नेह की आवश्यकता है। इसी आशा के साथ आपसे निवेदन है कि जिला शहर कांग्रेस कमेटी के प्रस्ताव को स्वीकार कर रीवा व विंध्य की कांग्रेस को पुनर्जीवित करने की कृपा करें।