मध्य प्रदेश: एक कलेक्टर के विरोध में 52 कलेक्टरों का घेराव | MP NEWS

Bhopal Samachar
भोपाल। मध्य प्रदेश में आज एक कलेक्टर के विरोध में प्रदेश के सभी 52 कलेक्टरों का घेराव किया गया। विरोध प्रदर्शन भारतीय जनता पार्टी ने किया। राजगढ़ कलेक्टर निधि निवेदिता गणतंत्र दिवस समारोह से पहले किसी भी प्रकार का तनाव नहीं चाहती थी। इसी के चलते उन्होंने ऐसा कुछ किया जिससे गणतंत्र दिवस समारोह से ठीक पहले प्रदेश के सभी कलेक्टरों को कम से कम आधे दिन की परेशानी हुई। मामला राजगढ़ में कलेक्टर द्वारा भाजपा नेताओं की पिटाई का है।

इंदौर में सुमित्रा महाजन सहित चार सौ भाजपा नेता गिरफ्तार


इंदौर में भाजपाइयों ने शुक्रवार को कलेक्ट्रेट का घेराव करते हुए उग्र प्रदर्शन किया। इस दौरान भाजपाइयों ने कमलनाथ सरकार के खिलाफ नारेबाजी की। भाजपा को प्रशासन ने केवल सभा करने की अनुमति दी थी, लेकिन प्रदर्शन और कलेक्ट्रेट का घेराव करने पर पुलिस ने पूर्व लोक सभा स्पीकर सुमित्रा महाजन, महापौर मालिनी गौड, प्रदेश अध्यक्ष राकेश सिंह, सांसद शंकर लालवानी, विधायक रमेश मेंदोला समेत 400 से ज्यादा भाजपाइयों को हिरासत में लेकर आजाद नगर स्थित अस्थाई जेल भेज दिया।

पूरे प्रदेश में विरोध प्रदर्शन हुआ, भाजपा नेताओं ने भड़ास निकाली 


मध्यप्रदेश में कमलनाथ सरकार द्वारा चलाए जा रहे माफिया के विरुद्ध अभियान से भारतीय जनता पार्टी के नेता पहले ही नाराज चल रहे हैं। उनका आरोप है कि इस अभियान के नाम पर सरकार भारतीय जनता पार्टी और उससे संबंधित लोगों को टारगेट कर रही है। 

शिवराज सिंह चौहान, कैलाश विजयवर्गीय, नरोत्तम मिश्रा, राकेश सिंह सहित नेता प्रतिपक्ष गोपाल भार्गव कई बार सरकार को चुनौती दे चुके थे। 

नागरिकता संशोधन कानून के समर्थन में भारतीय जनता पार्टी के नेता बड़े प्रदर्शन का इंतजार कर रहे थे। राजगढ़ कलेक्टर की हाथापाई ने भाजपा नेताओं को मौका दे दिया। गणतंत्र दिवस समारोह से ठीक पहले 24 जनवरी 2020 को पूरे प्रदेश में भाजपा नेताओं ने प्रदर्शन किया। 

राजगढ़ में क्या हुआ था 

राजगढ़ में सांसद रोडमल नागर ने नागरिकता संशोधन कानून के समर्थन में 19 जनवरी 2020 को एक विशाल रैली का आयोजन किया था। सभी तैयारियां पूरी हो गई थी कि तभी अचानक कलेक्टर ने अनुमति देने से मना कर दिया। कलेक्टर निधि निवेदिता का कहना था कि इस रैली का आयोजन गणतंत्र दिवस समारोह के बाद किया जाए। समारोह से पहले रैली करने से माहौल खराब हो सकता है। भाजपा सांसद कलेक्टर की बात मानने को तैयार नहीं हुए और उन्होंने रैली का आयोजन कर डाला। कलेक्टर निधि निवेदिता ने इसे अपनी प्रतिष्ठा का प्रश्न बना लिया। आयोजन से पहले धारा 144 लागू कर दी गई। इसके बाद भी जब रैली शुरू हुई तो महिला कलेक्टर निधि निवेदिता अपनी महिला अपर कलेक्टर प्रिया वर्मा के साथ मैदान में उतर आई। दोनों प्रशासनिक अधिकारियों ने पुलिस कर्मचारियों की तरह प्रदर्शनकारियों को पकड़ पकड़ कर पीटना शुरू कर दिया। बस इसी से बात बिगड़ गई। मध्यप्रदेश की एक कलेक्टर गणतंत्र दिवस समारोह से पहले तनाव नहीं चाहती थी, उन्होंने कुछ ऐसा कर डाला कि उनके कारण मध्य प्रदेश के सभी 52 कलेक्टरों को गणतंत्र दिवस समारोह से पहले तनाव का सामना करना पड़ा।

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