बगलामुखी के शरण में आए अमित शाह के बेटे, अनुष्ठान किया | JAI SHAH NEWS

भोपाल। भारत के गृह मंत्री एवं भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह के बेटे और बीसीसीआई के सचिव जय शाह रविवार को मध्य प्रदेश के प्रख्यात पीतांबरा सिद्धपीठ मां बगलामुखी मंदिर नलखेड़ा आए। यहां उन्होंने माता के श्रृंगार दर्शन किए और विशेष यज्ञ अनुष्ठान में भाग लिया। बता दें कि आगर मालवा जिले के नलखेड़ा में स्थित बगलामुखी माता का मंदिर देशभर में आस्था का केंद्र है। राजनीति की शायद ही कोई बड़ी हस्ती हो जो बगलामुखी माता की शरण में ना आई हो।

क्यों प्रसिद्ध है नलखेड़ा का बगलामुखी मंदिर

प्राचीन तंत्र ग्रंथों में दस महा विद्याओं का उल्लेख मिलता है। उनमें से एक है बगुलामुखी।
मां भगवती बगुलामुखी का महत्व समस्त देवियों में सबसे विशिष्ट है।
विश्व में इनके सिर्फ तीन ही महत्वपूर्ण प्राचीन मंदिर हैं, जिन्हें सिद्धपीठ कहा जाता है। उनमें से एक नलखेड़ा में स्थित है।
मान्यता के अनुसार बगुलामुखी का यह मंदिर महाभारत के समय का है।

भगवान कृष्ण ने करवाई थी मंदिर की स्थापना

मंदिर के पुजारी कैलाश नारायण के अनुसार कृष्ण की प्रेरणा से पांडवों ने यहां महाभारत के युद्ध में विजय प्राप्ति के लिए साधना की थी।
पहले इसे माताजी का देहरा के नाम से जाना जाता था। यहां पूजा में हल्दी और पीले रंग के पूजन सामग्री का विशेष महत्व है।
यह संभवत: अकेला मंदिर है जहां मां को पूजा में खड़ी और हल्दी पाउडर चढ़ाया जाता है।
इस मंदिर में माता बगलामुखी के अतिरिक्त माता लक्ष्मी, कृष्ण, हनुमान, भैरव तथा सरस्वती भी विराजमान हैं। मान्यता यह भी है कि यहां की बगुलामुखी प्रतिमा स्वयंभू है।

तंत्र साधना के लिए प्रसिद्ध है मां बगलामुखी

मां बगलामुखी मंदिर के पुजारी ने बताया मां बगुलामुखी मंदिर में तंत्र साधना के लिए विशेष संयोग है।
मंदिर के चारों तरफ श्मशान व समीप ही नदी के कारण इसका महत्व और भी बढ़ गया है।
पश्चिम में ग्राम गुदरावन, पूर्व में कब्रिस्तान और दक्षिण में कच्चा श्मशान है। बगुलामुखी माता मूलत: तंत्र की देवी हैं, इसलिए यहां पर तांत्रिक अनुष्ठानों का महत्व अधिक है।
यह मंदिर इसलिए महत्व रखता है, क्योंकि यहां की मूर्ति स्वयंभू और जाग्रत है। 

कई बड़ी हस्तियां अनुष्ठान के लिए आ चुकी है

केंद्रीय मानव संसाधन मंत्री स्मृति इरानी पिछले साल अप्रैल में नलखेड़ा स्थित शक्तिपीठ मां बगुलामुखी मंदिर में अचानक विशेष अनुष्ठान करने के लिए पहुंचीं थी। 
मई 2013 में पूर्व मुख्यमंत्री व भाजपा की राष्ट्रीय नेता उमा भारती ने मध्य रात्रि को मां बगुलामुखी मंदिर में तंत्र साधना की थी।  
मां के मंदिर में देश के कई बड़े राजनेता समय-समय पर तांत्रिक अनुष्ठान करवा चुके हैं।
उत्तराखंड की महारानी और टेहरी गढ़वाल से भाजपा सांसद मालाराज्य लक्ष्मी शाह प्रसिद्ध तांत्रिक स्थली मां बगुलामुखी मंदिर पहुंचीं थी।
मध्यप्रदेश के आगर मालवा जिले में नलखेड़ा स्थित मंदिर में सांसद ने हवन और पूजन किया था।
राजमाता विजयराजे सिंधिया, अमर सिंह, पूर्व मुख्यमंत्री स्व. अर्जुनसिंह सहित कई बड़े नेता यहां माथा ठेक चुके हैं। 

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