मध्य प्रदेश कैडर के सभी आईएएस अधिकारी मोदी के 20-50 फार्मूले में पास

भोपाल। भारतीय प्रशासनिक सेवा में मध्य प्रदेश कैडर के सभी अधिकारी चुस्त, ईमानदार एवं दक्ष है। कोई भी अधिकारी इतना भ्रष्ट, बेईमान, बीमार या लापरवाह नहीं है कि उसे अनिवार्य सेवानिवृत्ति देकर समय से पहले सेवा मुक्त करने की आवश्यकता हो। यह रिपोर्ट कमलनाथ सरकार ने नरेंद्र मोदी सरकार को भेजिए। बता दें कि केंद्र सरकार देशभर में आईएएस अफसरों के कामकाज की समीक्षा कर रही है ऐसे अफसर जो नियमित सेवा के योग्य नहीं रह गए हैं उन्हें अनिवार्य सेवानिवृत्ति देकर हटाया जा रहा है। इस प्रक्रिया को नरेंद्र मोदी का 20-50 फार्मूला कहा जाता है।

160 IAS अफसरों को कसौटी पर कसा: सभी को पास कर दिया

मध्यप्रदेश के IAS अफसर 20-50 के फॉर्मूले पर फिट निकले। 20 साल की नौकरी और 50 साल की उम्र के पैमाने पर इन अफसरों के कामकाज का आंकलन किया गया। सभी इसमें पास हो गए। प्रदेश सरकार ने अपनी रिपोर्ट केंद्र को भेज दी है। इसमें कहा गया कि प्रदेश के सभी IAS अफसरों का सेवाकाल में प्रदर्शन बेहतर रहा।

मध्य प्रदेश कैडर के सभी आईएएस अधिकारी अच्छे

मप्र ने केंद्र सरकार को भेजी रिव्यू रिपोर्ट में लिखा सारे IAS अफसरों का कामकाज संतोषजनक रहा। कोई भी अधिकारी ऐसा नहीं है जिसे अनिर्वाय सेवानिवृत्ति दी जाए या जिन्हे काम में कुशल ना होने के कारण हटाया जाए। प्रदेश के ऐसे अधिकारियों का भी रिव्यू किया गया जिनकी सर्विस को अभी महज़ 15 साल ही हुए हैं। सामान्य प्रशासन विभाग ने पिछले साल जुलाई से दिसंबर तक औऱ जनवरी से जून तक की रिव्यू रिपोर्ट केंद्र सरकार को भेजी है।

20-50 के फॉर्मूले के तहत IAS अफसरों का रिव्यू उनके काम के आधार पर किया गया है। प्रदेश भर के करीब 160 आईएएस अधिकारियों का रिव्यू किया गया है। जिसमें 15साल वाले अधिकारियों को भी शामिल किया गया था।

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