
7 अप्रैल तक हुए इंटरव्यू के बाद पीएससी ने 19 अप्रैल को अंतिम परिणाम और चयन सूची जारी कर दी। चयन सूची जारी होने के बाद जब सफल उम्मीदवार अपने नियुक्ति पत्र का इंतजार कर रहे थे तब पीएससी को पता चला कि रिजल्ट जारी करने में गड़बड़ी हो गई।
पीएससी-2015 की मुख्य परीक्षा का रिजल्ट 30 अगस्त 2016 को जारी हुआ था। इसी आधार पर इंटरव्यू हुए और अंतिम परिणाम जारी हुआ। 30 मई 2017 यानी मुख्य परीक्षा का रिजल्ट जारी होने के नौ महीने बाद पीएससी को याद आया कि उस रिजल्ट में त्रुटी हुई थी। इसी आधार पर घोषित परिणाम को रद्द करने का ऐलान कर दिया गया।
पीएससी ने घोषणा की कि कम्प्युटर की गलती के कारण मुख्य परीक्षा के परिणाम में 15 लोग जो सफल थे वे इंटरव्यू की चयन सूची से बाहर रह गए। इन सभी उम्मीदवारों का इंटरव्यू 24 अप्रैल को करवाया गया। इसके बाद फिर नया रिजल्ट बना जो अब जारी किया गया है।
पीएससी के मुताबिक संशोधित परिणाम में पूर्वघोषित परिणाम के मुकाबले बहुत ज्यादा बदलाव नहीं हुआ है। डिप्टी कलेक्टर, डीएसपी जैसे पदों की चयन सूची वही है। वाणिज्यिककर निरीक्षक पद की चयनसूची में बदलाव हुआ है। बाद में इंटरव्यू में शामिल उम्मीदवार इस पद के लिए चयनित हुआ। हालांकि पीएससी मान रही है कि तमाम पदों की वेटिंग लिस्ट में खासा बदलाव हुआ है।
परिणाम के साथ ही टीप दी गई थी कि यदि कोई लिपिकीय त्रुटी संज्ञान में आती है तो आयोग के पास परिणाम सुधार का अधिकार रहेगा। इसी आधार पर परिणाम संशोधित किए गए हैं।
वंदना वैद्य, उपसचिव