शहीदों को याद करते छलक उठीं एसपी की आखें, बोले एक मेरा दोस्त भी था

कमलेश सारड़ा/नीमच। पुलिस अक्सर खुद को क्रूर और संवेदनहीन प्रदर्शित करती है परंतु वर्दी के भीतर भावनाओं से भरा दिल भी कभी कभी सामने आ ही जाता है। यहां एसपी मनोज सिंह की आखं छलक उठीं। अश्रुधरा भी बही। उन्होंने कहा कि शहीदों में एक मेरा दोस्त भी था। 

आज शहिद स्मृति दिवस पर पुलिस लाइन में श्रद्धांजलि समारोह का आयोजन किया गया था।जिसमें पुलिस कप्तान मनोज सिंह भी पहुंचे थे। जब शहिदों की वीरता पर प्रकाश डाला जा रहा था। इस दौरान पुलिस कप्तान मनोज सिंह अचानक भावुक हो गए, और बोले देश के लिए मर मिटने वाले शहिदों में मेरा एक दोस्त भी था। 

ऐसा बोलते ही अचानक श्रीसिंह का दिल भर आया और भावुक हो उठे। साफ दिख रहा था उनकी आंखे भर आई थी। कुछ देर बोलते हुए रूक गए। फिर दिल का दर्द दिल में ही दबाया व आगे का भाषण शुरू किया। इस दौरान शहिद स्मृति दिवस पर शहिदों को सलामी परेड दी गई। 

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