
अध्यापक नेताओ ने कहा कि यह पहली बार है कि शिक्षक दिवस का बहिष्कार पूरा शिक्षक समुदाय कर रहा है। यह अच्छी पहल है जब शिक्षक, अध्यापक संवर्ग का शासन की नजर में कोई सम्मान नही है तो दिखावा क्यों। अध्यापको का सम्मान तब होगा जब वेतन की विसंगति दूर होगी। जब हमें पूर्ण शिक्षक का दर्जा मिलेगा। आज हमारे बहुत से साथी हमारे बीच में नही रहे। उन्होने शासन के दमनकारी नीतियो के चलते अपने प्राण गवां दिये।
आज उनका परिवार दर दर ठोकरे खाने को मजबूर है, किन्तु सरकार के कानो में जूं भी नही रेंग रही है। आज एक जनप्रतिनिधि महज पांच साल वर्ष शासन का प्रतिनिधी बनकर पूरा जीवन सुरक्षित कर लेता है। किन्तु हम अपना पूरा जीवन शासन की सेवा करके भी अपने भविष्य को सुरक्षित नही कर पा रहे है अब हमने तय किया है कि जब तक हमारी वेतन विसंगति को दूर नही करवा लेगें शासन के इस तरह के दिखावटी कार्यक्रमों का विरोध करते रहेंगे।