भोपाल। केंद्र सरकार द्वारा बुधवार को सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों को मंजूरी देने के बाद राज्य सरकार ने भी नए वेतन आयोग के गठन का मन बना लिया है। राज्य सरकार ने प्रदेश के कर्मचारियों को सातवां वेतनमान देने की तैयारी शुरू कर दी है। प्रदेश के वित्त मंत्री जयंत मलैया ने बताया कि केंद्र सरकार से वेतन आयोग की रिपोर्ट मिलते ही आयोग के गठन की कार्रवाई की जाएगी।
हालांकि मलैया ने आयोग के गठन की समयसीमा नहीं बताई। उन्होंने ये जरूर कहा कि राज्य सरकार भी अपने कर्मचारियों को सातवां वेतनमान देगी यह तय है। वित्त मंत्री ने कहा कि नीतिगत मामला होने से कैबिनेट में इस पर फैसला किया जाएगा।
जिस तारीख से केंद्र अपने कर्मचारियों को वेतन लाभ देगी, उसी तारीख से राज्य में भी नए वेतनमान का लाभ दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि राजनीतिक सरगर्मियां खत्म हो जाएं और केंद्र से सातवें वेतन आयोग की सिफारिशें मिल जाएं, इसके बाद एक्सपर्ट के साथ बैठकर सिफारिशों का परीक्षण कर आयोग के गठन का निर्णय लेंगे। उन्होंने भरोसा दिलाया कि किसी भी सूरत में राज्य के कर्मचारियों का नुकसान नहीं होने देंगे।
राज्य के कर्मचारियों को सातवां वेतनमान कब से मिलेगा, यह पूछने पर मलैया ने कहा कि केंद्रीय तिथि से ही दिया जाएगा। उल्लेखनीय है कि राज्य सरकार ने प्रदेश के कर्मचारियों को छठवें वेतनमान का लाभ एक जनवरी 2006 से दिया है।
हालांकि इसकी अधिसूचना विधानसभा चुनाव के ठीक पहले 10 सितंबर 2008 को जारी हुई थी। सरकार ने एक सितंबर 2008 से छठां वेतनमान मूल वेतन में जोड़ा था और एक जनवरी 2006 से 31 अगस्त 2008 तक की एरियर्स राशि कर्मचारियों के खातों में जमा कराई थी।