भोपाल। जिस प्रदेश की यात्री बसों में इमरजेंसी खिड़की और दूसरा दरवाजा नहीं होता उस मध्यप्रदेश में मंहगा वाला (लगभग 100 करोड़) हवाईजहाज इसलिए खरीदा जा रहा है ताकि मुख्यमंत्री एवं VVIP को कोई खतरा ना हो, पूरी सुविधा रहे।
केबीनेट की मीटिंग में जब गृह मंत्री बाबूलाल गौर ने विमानन विभाग के प्रमुख सचिव इकबाल सिंह से पूछा था कि जेट और टर्बो की कीमत में कितना अंतर है। इस पर मंत्री यशोधरा राजे सिंधिया ने कहा कि 'सवाल मुख्यमंत्री की जान का है महंगे सस्ते का नहीं। इसके बाद फिर किसी मंत्री ने कोई सवाल नहीं किया। यहां यह भी बता दें कि मुख्यमंत्री के लिए जो जेट विमान खरीदा जा रहा है उसकी लैंडिंग लायक सिर्फ भोपाल, इंदौर, जबलपुर, ग्वालियर, नीमच और खजुराहो में हवाई पट्टियां हैं। प्रदेश के बाकी शहरों में हवाई पट्टियां भी बनानी होंगी। इस पर भी मोटा खर्चा आएगा।
अपने राम का तो सिर्फ इतना कहना है कि अच्छा है आपको किसी की जान की तो परवाह है। काश यही संवेदनशीलता एक आम इंसान की जान के लिए भी होती तो पन्ना जैसे हादसे ना होते।