जबलपुर। मध्यप्रदेश हाईकोर्ट में जनहित याचिका के जरिए नेशनल हाइवे के किनारे शराब दुकानें संचालित किए जाने के रवैये को कठघरे में रखा गया है। मुख्य न्यायाधीश अजय माणिकराव खानविलकर व जस्टिस जेके माहेश्वरी की युगलपीठ ने पीआईएल को सुनवाई के लिए मंजूर करते हुए केन्द्र व राज्य शासन सहित अन्य को नोटिस जारी कर जवाब-तलब कर लिया है।
सोमवार को मामले की सुनवाई के दौरान जनहित याचिकाकर्ता जबलपुर निवासी सुधांशु गुप्ता व प्रकाश जायसवाल का पक्ष अधिवक्ता सिद्धार्थ गुप्ता ने रखा। उन्होंने दलील दी कि केन्द्र शासन के मानक-परिपत्र के मुताबिक देशभर में नेशनल हाइवे से 100 मीटर की दूरी तक कोई शराब दुकान संचालित नहीं की जा सकती।
अवैध बिक्री जारी
बहस के दौरान दलील दी गई कि मध्यप्रदेश में मनमाने तरीके से केन्द्र के परिपत्र के दायरे से नगर निगम, नगर पालिका व नगर पंचायत क्षेत्रों को बाहर कर दिया गया। इसी के साथ यहां से गुजरने वाले नेशनल हाइवे के किनारे 100 मीटर की परिधि में धड़ल्ले से अवैध शराब दुकानें संचालित की जा रहीं हैं। इस वजह से दुर्घटनाओं का खतरा बना रहता है। शराब सिंडीकेट के दबाव में उठाया गया यह कदम चुनौती के योग्य है।