शिवपाल को शिवराज का जवाब: पहले कर्जा चुकाओ, फिर पानी मांगना

भोपाल। पिछले दिनों यूपी के मंत्री और सीएम के चाचा शिवपाल सिंह यादव ने मप्र पर उनके हिस्से का पानी रोकने का आरोप लगाया था। इस खबर के मीडिया में आते ही लगा था कि मप्र के सीएम शिवराज कितने निर्दयी हो गए हैं, अब पानी तक रोक लिया, लेकिन सीएम शिवराज सिंह ने इस मामले की असलियत उजागर कर दी है। यूपी पर इसी प्रोजेक्ट को लेकर एमपी का 64 करोड़ रुपया बकाया है। यूपी कर्जा नहीं चुका रहा, बस मीडिया में एक पीड़ित की तरह एक्ट कर रहा है। 

पानी के मसले पर अब मध्यप्रदेश और उत्तरप्रदेश खुलकर आमने-सामने हैं। उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव के चाचा और पीडब्ल्यूडी मंत्री शिवपाल यादव ने चेतावनी दी है कि मध्य प्रदेश सरकार बाणसागर परियोजना से यूपी को पानी देने के मामले में रवैया बदले, वरना हम भी एमपी को दिए जा रहे पानी पर रोक लगा देंगे। जवाब में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि यूपी सरकार समझौते के मुताबिक पैसा तो दे। पानी की बात बाद में होगी।

यादव ने यूपी में सोनभद्र की एक जनसभा में सोमवार को आरोप लगाया कि मप्र के प्रमुख सचिव (सिंचाई) ने जानबूझकर बांध से मिल रहा पानी रुकवा दिया है। अगर हमें पानी नहीं मिला तो संबंधित अफसरों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई जाएगी। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय जल संसाधन मंत्री उमा भारती, दोनों उत्तर प्रदेश से सांसद हैं। इसके बावजूद राज्य की अनदेखी हो रही है। लगभग 2800 करोड़ खर्च किए जाने के बावजूद पानी उप्र को नहीं मिला है। हिसाब दिए बगैर इस बांध की लागत लगातार बढ़ती चली जा रही है।

सरकार की दलील है कि समझौते के अनुसार परियोजना की लागत के अलावा मेंटेनेंस और संचालन में खर्च होने वाली राशि तीनों राज्यों (मप्र, यूपी व बिहार) को समान रूप से वहन करना है। यूपी सरकार को अब तक 25 पत्र लिखे जा चुके हैं, लेकिन संचालन की राशि तक (करीब 14 करोड़ रु.) नहीं मिली है। बावजूद इसके पिछले माह से पानी छोड़ दिया गया है। 28 मई को दिल्ली में हुई बैठक में मप्र सरकार यह स्पष्ट कर चुकी है कि जब तक उप्र बांध के संचालन व रख-रखाव का बकाया पैसा नहीं देगा, पानी नहीं छोड़ेंगे। बैठक केंद्रीय जल संसाधन मंत्री उमा भारती की अध्यक्षता में हुई।

हम अदालत जाएंगे
बाणसागर से पानी लेने के लिए हम अदालत जाएंगे। अगर वहां भी न्याय नहीं मिला तो मप्र को दिए जा रहे पानी पर रोक लगा देंगे। - शिवपाल यादव, पीडब्ल्यूडी मंत्री, यूपी

पहले नहरें तो बनाएं
यूपी सरकार ने अभी तक नहरें नहीं बनाई हैं। समझौते का पालन भी नहीं कर रही है। इसके बावजूद 5 घन मीटर प्रति सेकंड पानी सोन नदी में छोड़ा जा रहा है।
शिवराज सिंह चौहान, मुख्यमंत्री

उत्तर प्रदेश पर बकाया, बिहार का हिसाब सही
बाणसागर मप्र, उप्र और बिहार का संयुक्त प्रोजेक्ट है। निर्माण पर अभी तक 1697 करोड़ खर्च हुए हैं। इसमें उप्र की हिस्सेदारी 467 करोड़ है। उस पर संचालन और मेंटनेस समेत कुल बकाया 64 करोड़ रु. है। समझौते के अनुसार संचालन और रखरखाव का खर्च तीनों राज्यों को उठाना है। बिहार खर्च उठा रहा है, इसलिए उसे पानी जा रहा है। उप्र ने अब तक हिस्सेदारी नहीं दी। न ही बात की।

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