भोपाल। आश्वासन पर आश्वासन मिलते रहे और हमने अपने जीवन के स्वर्णिम पांच- सात वर्ष शासन की सेवा में लगा दिये जिससे हमें आज तक आश बंधी है की आज नहीं तो कल सरकार हमें सम्मान जनक पद जरूर देगी किन्तु हमारी ओर सरकार का ध्यान नहीं जा रहा है या सरकार हमारी ओर ध्यान देना नहीं चाहती।
यह बात टी.टी. नगर दशहरा मैदान में धरने पर बेठे प्रदेश के विभिन्न जिलो से आये अतिथि शिक्षकों ने कही। नियमितिकरण की मांग को लेकर प्रदेश भर से आये अतिथि शिक्षको ने टीटी नगर दशहरा मैदान में 14 वें दिन भी आदोलन जारी रखा। नियमितिकरण की मांग को लेकर अतिथि शिक्षक 28 मार्च 2015 से टी.टी. नगर दशहरा मैदान में अनिष्चितकालीन धरना पर बैठै हुये है। धरना स्थल पर अतिथि शिक्षकों की सुध लेने 14 वें दिन भी कोई प्रशासनिक अधिकारी दशहरा मैदान नही पहुचा।
अतिथि शिक्षकों ने सवाल उठाया है कि हमारे जीवन के जो छः- सात साल हमने सरकारी स्कूल में अल्प मानदेय में स्कूल के नियमित व सरकारी शिक्षको के साथ कदम से कदम मिलकर कार्य किया ,स्कूल की सभी गतिविधियों में बढ़चढ़कर छात्रों का उत्साह वर्धन किया, उनके सर्वांगीण विकाश में सहयोग दिया, उनका भविष्य सूधारा किन्तु आज हमारा भविष्य कौन सुधारेगा ? सरकार अतिथि शिक्षकों की वाजिब मांगों को शीघ्र मंजूर करे जिससे अतिथि शिक्षकों का शोषण बंद हो सके और उनके सामने अनिश्चितता की जो तलवार लटकी हुई है, वह भी हट सके। दिल्ली हरियाणा राजस्थान उत्तर प्रदेश सरकार अतिथि शिक्षको को नियमित कर चुकी है। म.प्र. सरकार अतिथि शिक्षको को नियमित क्यो नही करती।
अतिथि शिक्षको ने बताया कि आदोलन के 14 दिन बीतने के बाद भी प्रदेश सरकार नही जागी है। सरकार नियमितीकरण का आदेश नही देती तब तक आदोलन जारी रहेगा।
