अब पूरे प्रदेश में होगी छात्रवृत्ति घोटाले की जांच

भोपाल। इन्दौर के प्राइवेट पैरामेडिकल कॉलेजों में करोड़ों के छात्रवृत्ति घोटाले में लोकायुक्त ने प्रदेशस्तर पर जांच शुरू कर दी है। इसके लिए तीन सदस्यीय उच्चस्तरीय कमेटी बनाई है।

लोकायुक्त पीपी नावलेकर ने कुछ महीने पहले शासन से वर्ष 2009-10, 2010-11 और 2011-12 में प्रदेशभर में आवंटित छात्रवृत्ति का हिसाब मांगा था। छात्रवृत्ति आवंटित करने वाले अधिकारी, लेने वाले छात्र और कॉलेज की जानकारी भी देने को कहा था। यह जानकारी मिलने के बाद लोकायुक्त ने घोटाले की जांच शुरू कर दी है।

जांच रिपोर्ट पर उठ रहे सवाल

लोकायुक्त इस मामले में सहायक आयुक्त आदिम जाति कल्याण विभाग इंदौर जेपी यादव पर केस दर्ज कर चुका है। लोकायुक्त ने बुधवार को विभाग के मंडल संयोजक मनोहर चौहान के घर भी छापा मारा था। ये दोनों अधिकारी शहर के पैरामेडिकल कॉलेजों की जांच में भी शामिल थे। इसमें कई कॉलेजों को क्लीन चिट मिली थी। हालांकि क्लीन चिट वाले कॉलेजों पर भी लोकायुक्त ने केस दर्ज किया है। ऐसे में जांच रिपोर्ट पर सवाल उठ रहे हैं। उधर, विभाग के आयुक्त उमाकांत उमराव का भी कहना है कि हमने कलेक्टरों को निष्पक्ष व्यक्ति से जांच कराने के लिए कहा था। यदि विभाग के अधिकारियों से ही जांच कराई गई है तो यह गलत है। इसमें पारदर्शिता नहीं रह जाती।


॥शासन से जानकारी लेकर हमने कमेटी बनाकर जांच शुरू कर दी है। जांच के आधार पर दोषियों के खिलाफ कार्रवाई होगी।
पीपी नावलेकर, लोकायुक्त

लोकायुक्त को दे दी पूरी जानकारी
॥लोकायुक्त को मांगी गई जानकारी दे दी है। अब  उनके द्वारा अपने स्तर पर जांच की जा रही है।
उमाकांत उमराव
आयुक्त आदिम जाति कल्याण विभाग

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