राजेन्द्र धनोतिया@राजकाज, भोपाल। राज्य प्रशासनिक सेवा के अधिकारियों को कनिष्ठ वेतनमान से वरिष्ठ वेतनमान मे क्रमोन्नति के लिए अभी भी इंतजार करना पड़ रहा है। मप्र राज्य प्रशासनिक सेवा संघ के आंदोलन की चेतावनी के बाद राज्य शासन ने क्रमोन्नति के कुछ आदेश जारी कर दिये। तब माना जा रहा था कि डिप्टी कलेक्टर से संयुक्त कलेक्टर पद पर क्रमोन्नति के आदेश भी एक-दो दिन में निकल जाएगें, लेकिन ऐसा नही हुआ।
सूत्रों ने बताया कि राज्य प्रशासनिक सेवा के अधिकारियों को क्रमोन्नति आदेश जारी होने के मामले में शुरू से ही विलंब होता रहा है। यही कारण है कि ज्यादा विलंब होने के कारण संघ ने सामूहिक अवकाश आंदोलन जैसा कदम उठाने की चेतावनी दी। उसका असर भी हुआ और कुछ क्रमोन्नति आदेश जारी भी हो गये। लेकिन डिप्टी कलेक्टर से संयुक्त कलेक्टर पद पर पदोन्नति का मामला अभी भी अटका हुआ हैं। जब इस संबंध में जानकारी जुटाई गयी तो पता चला कि वर्ष 2006 का पूरा बैच ही बैकलॉग के पदों से भरा गया था, इसमें कई अधिकारियों को विभिन्न कारणों से क्रमोन्नत वेतनमान दिया जाना संभव नहीं है। 90 पदों वाले इस बैच के लगभग 50 अधिकारियों को ही इसका लाभ मिल सकता है। लेकिन इस वेतनमान के लिए हुई डीपीसी के मिनिट्स पर अभी मुख्यमंत्री के हस्ताक्षर नहीं हो पाए है। अब मुख्यमंत्री की स्वीकृति के बाद ही क्रमोन्नति के आदेश जारी हो सकेंगे।
- श्री राजेन्द्र धनौतिया राजकाज.कॉम के संपादक हैं।