भोपाल। हमारा पूरा बॉलीवुड भिंड और चम्बल के नाम से ही थर्राता है। हममे से कोर्इ् भी यहां आना नहीं चाहता। सुना है यहां आदमी आता तो अपने दो पैरों पर है लेकिन वापस...।
परंतु आज जब में भिंड में हूं तो मुझे लगता है कि ऐसा कुछ नहीं है। यह तो बहुत अच्छा शहर है। यह प्रतिक्रिया जताई फिल्म अभिनेता रजा मुराद ने। वो भिंड में दैनिक भास्कर के पत्रकार आकाश सिंह भदौरिया से बात कर रहे थे।
रजा मुराद ने कहा कि मैं भिंड पहली बार आया हूं। मेरे परिवार वालों ने भी मुझे यहां आने से रोका। मेरी धर्मपत्नी तो काफी चिंतित थीं, लेकिन भिंड आकर बहुत अच्छा लगा। यहां के लोगों में काफी प्यार है। लेकिन जो सुना था, वैसा यहां कुछ नहीं है।
यह बात फिल्म अभिनेता रजा मुराद ने रविवार को सर्किट हाउस पर दैनिक भास्कर से चर्चा के दौरान कही। एक सवाल के जवाब में रजामुराद ने कहा कि अब मुगले-ए-आजम व शोले जैसी फिल्मों के दूसरे पार्ट नहीं आ पा रहे हैं। नई कहानियां नहीं निकल पा रही हैं। इसकी मुख्य वजह है कि बॉलीवुड में लोग मेहनत नहीं कर रहे और न ही अच्छे संगीतकार बचे हैं।