भोपाल। भारत निर्वाचन आयोग के निर्देश पर प्रदेश के सभी जिले विधानसभा क्षेत्रों के बारे में व्यापक स्वीप प्लान की कार्य-योजना बनायेंगे। मध्यप्रदेश के मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय द्वारा निर्वाचन आयोग के निर्देश पर सभी जिला कलेक्टरों को स्वीप प्लान बनाने तथा उसका क्रियान्वयन सुनिश्चित करवाने के निर्देश दिये गये हैं।
स्वीप प्लान की योजना जिन प्रमुख बिन्दुओं पर आधारित होगी, उनमें पात्र मतदाताओं का पंजीयन, मतदाता-पर्ची में फोटो को शामिल किया जाना, ऐपिक-कार्ड का वितरण, मतदान के लिये आने वाले मतदाताओं की संख्या में वृद्धि, मतदान के लिये सभी वर्गों की समान भागीदारी, नियमानुसार मतदान आदि सम्मिलित है। स्वीप प्लान में परिवारों, मुख्यतः महिलाओं, गरीब और कम आय वाले लोगों, निरक्षर व्यक्तियों, युवाओं, सामाजिक रूप से पिछड़े शहरी, कृषि कार्य और श्रमिक के रूप में कार्यरत लोगों पर ध्यान केन्द्रित किया जायेगा।
जिला कलेक्टरों को निर्देश दिये गये हैं कि वे जल्द से जल्द बेसलाईन सर्वे करवाएँ, ताकि लोगों के ज्ञान, दृष्टिकोण, व्यवहार आदि के संबंध में कमियों का पता लगाकर उन्हें दूर किया जा सके। सर्वे में मतदान केन्द्र-स्तर तक का विश्लेषण करवाया जाये ताकि पता लग सके कि कहाँ सबसे कम लोग मतदान के लिये जाते हैं। इसके कारणों का पता लगाकर समुचित कार्यवाही की जाये। मतदाताओं में जागरूकता की कमी को दूर करने के लिये मीडिया के माध्यम से लोगों को जागृत करने को कहा गया है। व्यापक प्रोत्साहन अभियान चलाकर मतदाताओं को शिक्षित और जागरूक बनाया जाना चाहिये। यह कार्य सुनियोजित तरीके एवं पूरी तत्परता से करने को कहा गया है। इस कार्य में विभिन्न संबंधित संस्थाओं तथा जन-संचार माध्यमों का भरपूर उपयोग लेने को भी कहा गया है।
निर्देशों में कहा गया है कि छूटे हुए मतदाताओं का पंजीयन नामांकन करने की अंतिम तिथि तक जारी रखा जाये। यह सुनिश्चित करने को कहा गया है कि सभी आवेदकों को मतदाता पहचान-पत्र (एपिक-कार्ड) जारी हो जाये। आयोग के निर्देशों के अनुसार मतदाता पर्चियों का समय पर वितरण करवाया जाये। मतदाताओं की सुविधा के लिये अधिक संख्या में मतदान केन्द्र बनाये जाये। मतदाता पंजीयन के लिये शिक्षा केन्द्र समुचित स्थानों पर स्थापित किये जाये, जिससे मतदाता जागरूक हो सकें। इन केन्द्रों पर पर्याप्त मात्रा में आवश्यक सामग्री भी उपलब्ध करने को कहा गया है। जिलों में स्वीप प्लान मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी के संरक्षण एवं समन्वय से लागू करवाया जायेगा।