भोपाल। यह आंकलन बीजेपी या किसी प्रायोजित मीडिया सर्वे ऐजेन्सी का नहीं बल्कि कांग्रेस का है और शिवराज सिंह के लिए बड़ी सफलता की बात है। कांग्रेस हाईकमान के सामने पिछले दिनों रखी गई एक रिपोर्ट में बताया गया है कि मध्यप्रदेश में केवल शिवराज सिंह के नाम पर 4 प्रतिशत वोट पढ़ेंगे। लोग भले ही अपने विधायक से नाराज हों, परंतु शिवराज सिंह के नाम पर बीजेपी को वोट जरूर करेंगे।
पिछले दिनों कांग्रेस हाईकमान ने गोपनीय स्तर पर एक सर्वे कराया, जिसकी समीक्षा दिल्ली दरबार में की गई। इस समीक्षा मीटिंग में हाईकमान के सामने पेश की गई रिपोर्ट में बताया गया कि मध्यप्रदेश में मुकाबला भाजपा से नहीं बल्कि शिवराज सिंह से है।
कई ऐसी विधानसभाएं हैं जहां लोग अपने विधायक से खुश नहीं हैं, लेकिन फिर भी वो भाजपा को ही वोट करेंगे क्योंकि सीएम शिवराज सिंह हैं। मीटिंग में यह मुद्दा प्रमुखता से उठाया गया कि जिस प्रकार गुजरात में नरेन्द्र मोदी के नाम पर वोट मिले थे, उसी प्रकार मध्यप्रदेश में भी शिवराज सिंह के नाम पर वोट मिलेंगे।
कांग्रेस हाईकमान की इस समीक्षा बैठक में यह चिंतन भी हुआ कि यदि शिवराज सिंह के सामने कोई नाम नहीं उतारा गया तो कांग्रेस के हालात गुजरात जैसे हो सकते हैं। कांग्रेस हाईकमान के लिए चिंता का विषय इसलिए भी है कि उत्तरप्रदेश और गुजरात के बाद यदि मध्यप्रदेश में यदि कांग्रेस ने हार की हैट्रिक बनाई तो फिर शायद कांग्रेस लम्बे समय तक वहां मजबूत नहीं हो पाएगी।
इसी मीटिंग के दौरान ज्योतिरादित्य सिंधिया का नाम सामने आया, जिस पर सोनिया गांधी और राहुल गांधी दोनों ने सहमति जताई। साथ ही यह भी तय किया गया कि हाईकमान मध्यप्रदेश में कांग्रेस की गतिविधियों पर सीधे नजर रखेगा।
