भोपाल। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने किसानों के प्रति सरकार की प्रतिबद्धता को दोहराते हुए कहा कि अन्नदाताओं को relief package देने में कभी कोई कमी नहीं होगी। इस वर्ष अतिवृष्टि और बाढ़ की मार, पीला मोज़ेक तथा कीट प्रकोप से उपजी फसल क्षति ने किसानों को गहरा आघात पहुंचाया। साथ ही, प्राकृतिक आपदाओं से हुई जान-माल और आवास की हानि ने उनकी मुश्किलें और बढ़ा दीं। ऐसे चुनौतीपूर्ण समय में, राज्य सरकार ने प्रभावित 23.81 लाख से अधिक किसानों को अब तक 1802 करोड़ रुपये की सहायता वितरित कर दी है।
पिछले साल की तुलना में तीन गुना अधिक मुआवजा बांट दिया
डॉ. यादव ने बताया कि यह राशि पिछले वित्तीय वर्ष 2024-25 में दिए गए 660.57 करोड़ रुपये से लगभग तीन गुना अधिक है। आरबीसी 6(4) के अंतर्गत यह relief न केवल फसल और आवास क्षति की भरपाई करता है, बल्कि किसानों को फिर से खड़े होने का हौसला भी देता है। विस्तार से कहें तो, अतिवृष्टि, बाढ़, पीला मोज़ेक और कीट व्याधि से प्रभावित 23 लाख 81 हजार 104 किसानों को 1623.51 करोड़ रुपये, जबकि अन्य प्राकृतिक आपदाओं की क्षतिपूर्ति के लिए 178.45 करोड़ रुपये दिए गए हैं।
मुख्यमंत्री मोहन यादव ने कहा: किसान कभी अकेला नहीं
मुख्यमंत्री ने पिछले वर्षों की तुलना में इस वृद्धि पर संतोष जताते हुए कहा कि 2021-22 में 1590.74 करोड़, 2022-23 में 726.15 करोड़ और 2023-24 में 758.62 करोड़ रुपये की सहायता वितरित की गई थी। उनका स्पष्ट संदेश है, किसान कभी अकेला नहीं। चाहे अतिवृष्टि हो या बाढ़, कीट संक्रमण हो या कोई और natural disaster, सरकार हर कदम पर उनके साथ खड़ी है। किसानों का दुख पूरे प्रदेश का दुख है, और उनका सुख ही हमारी समृद्धि का आधार।
डॉ. यादव ने किसान कल्याण की व्यापक पहलों का भी जिक्र किया। सिंचाई के लिए पर्याप्त water supply, reliable बिजली, zero-interest loans, फसलों पर minimum support price (MSP) और crop insurance का समयबद्ध भुगतान, ये सब मिलकर किसानों के दिल में नया confidence और hope जगाते हैं। सरकार किसानों की सरकार है, और यह वादा अटल है कि हर जरूरी मदद बिना विलंब के पहुंचेगी।
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