उच्च न्यायालय जबलपुर ने एक बार फिर आयुक्त लोक शिक्षण भोपाल को कठोर शब्दों में आदेश देते हुए, अतिशेष शिक्षक प्रकरण में शिक्षक के पक्ष में संयुक्त संचालक की अध्यक्षता वाली समिति के आदेश (दिनांक 14/11/2024) का पालन 10 दिनों के भीतर करने का आदेश जारी किया है। वर्तमान में श्रीमती शिल्पा गुप्ता आईएएस, आयुक्त लोक शिक्षण संचालनालय के पद पर हैं। यहां उल्लेख करना चाहिए कि आयुक्त लोक शिक्षण के खिलाफ सैंकड़ों मामले प्रचलन में हैं। एक मामले में तो वारंट भी जारी हो गया था।
श्रीमती दीप्ति श्रीवास्तव जिला सागर का मामला
श्रीमती दीप्ति श्रीवास्तव, senior secondary teacher (Mathematics), उच्चतर माध्यमिक विद्यालय, भैंसा नाका, जिला सागर में पदस्थ थीं। दो स्वीकृत पदों के विरुद्ध, कथित तौर पर, भैंसा नाका में तीन senior secondary mathematics teachers के पदस्थ होने के कारण, श्रीमती श्रीवास्तव को surplus घोषित कर उच्चतर माध्यमिक विद्यालय, पथरिया हाट स्थानांतरित कर दिया गया था।
अतिशेष को फिर से अतिशेष कर दिया
श्रीमती दीप्ति श्रीवास्तव ने संयुक्त संचालक की अध्यक्षता वाली समिति के समक्ष अभ्यावेदन प्रस्तुत कर बताया कि भैंसा नाका में senior secondary teacher का कोई पद रिक्त नहीं था। जिला शिक्षा अधिकारी (DEO) की त्रुटि के कारण, अगस्त माह में higher post charge के बाद श्री नरसिंह पटेल को भैंसा नाका में senior secondary teacher का प्रभार दिया गया था। दोनों स्वीकृत पद पहले से भरे हुए थे, और श्री नरसिंह पटेल की posting रिक्त पद के विरुद्ध नहीं की गई थी। इसके बावजूद, श्रीमती श्रीवास्तव को surplus घोषित कर transferred किया गया।
जांच के बाद भी आयुक्त लोक शिक्षक ने न्याय नहीं किया
संयुक्त संचालक की अध्यक्षता वाली समिति ने 14/11/2025 को श्रीमती दीप्ति श्रीवास्तव के अभ्यावेदन को स्वीकार करते हुए माना कि जिला शिक्षा अधिकारी, सागर की गलती से उन्हें surplus घोषित कर transferred किया गया। समिति ने DEO सागर को निर्देश दिया कि श्रीमती श्रीवास्तव को पुनः भैंसा नाका में posted किया जाए। DEO ने आयुक्त लोक शिक्षण को पत्र भेजा, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई। इसके बाद, श्रीमती श्रीवास्तव ने उच्च न्यायालय जबलपुर में writ petition दायर कर संयुक्त संचालक के आदेश का पालन करवाने की मांग की।
याचिकाकर्ता के वकील की दलील
श्रीमती श्रीवास्तव की ओर से अधिवक्ता श्री अमित चतुर्वेदी ने उच्च न्यायालय जबलपुर की एकल पीठ को बताया कि आयुक्त लोक शिक्षण भोपाल ने surplus declared cases की सुनवाई और posting changes के लिए संयुक्त संचालक, संभागीय लोक शिक्षण की अध्यक्षता वाली समिति का गठन किया था। समिति ने श्रीमती श्रीवास्तव के surplus transfer को अवैध माना।
सुनवाई के बाद, उच्च न्यायालय जबलपुर ने आयुक्त लोक शिक्षण भोपाल के खिलाफ स्पष्ट और कठोर आदेश जारी करते हुए, संयुक्त संचालक सागर के आदेश (दिनांक 14/11/2025) का पालन 10 दिनों के भीतर करें। श्रीमती दीप्ति श्रीवास्तव की ओर से उच्च न्यायालय जबलपुर में अधिवक्ता अमित चतुर्वेदी ने legal representation प्रदान की।
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