जबलपुर स्थित हाई कोर्ट ऑफ़ मध्य प्रदेश में राजस्थान निवासी लक्ष्मी कांत शर्मा ने अधिवक्ता रामेश्वर सिंह ठाकुर के मध्य से याचिका दायर कर कमिश्नर DPI BHOPAL के आदेश को चुनौती दी गईं है। याचिकाकर्ता द्वारा अंग्रेजी विषय में BA की एडिशनल डिग्री के अलावा इंग्लिश सब्जेक्ट में ही पोस्ट ग्रेजुएशन डिग्री प्राप्त की है लेकिन आयुक्त लोक शिक्षण संचालनालय ने उनकी डिग्री को अमान्य करके मिडिल स्कूल शिक्षक के पद पर नियुक्ति देने से इंकार कर दिया।
आयुक्त लोक शिक्षण संचालनालय का फैसला भेदभाव पूर्ण
उक्त याचिका की प्रारंभिक सुनवाई जस्टिस विशाल मिश्रा की खंडपीठ द्वारा की गई। याचिकाकर्ता के अधिवक्ता ने कोर्ट को बताया की याचिकाकर्ता के समान अन्य दो अभ्यर्थियों को जिन्हे पूर्व में आवेदक के साथ यह कहते हुए नियुक्तियां नहीं दी गईं की, संबंधित विषय (अंग्रेजी) स्नातक में एक विषय के रूप में अध्ययन नहीं किया गया है, कुछ दिनों बाद दो अन्य अभ्यर्थियों की एडिशनल डिग्री मान्य करके उन्हें नियुक्तियां दे दी गई है। जबकी याचिकाकर्ता की बी.ए. की एडिशनल डिग्री तथा स्नाकोत्तर भी अंग्रेजी विषय में की है, फिर भी अमान्य करके नियुक्ति देने से इंकार कर दिया गया।
स्कूल शिक्षा विभाग के प्रमुख सचिव को भी हाई कोर्ट का नोटिस जारी
कोर्ट ने प्रथम दृष्टया कमिश्नर के उक्त कृत्य को भेदभाव पूर्ण माना तथा प्रमुख सचिव स्कूल शिक्षा विभाग तथा कमिश्नर लोक शिक्षण संजना रे भोपाल को नोटिस जारी करके जबाब तलब किया गया है। विनम्र निवेदन🙏कृपया हमें गूगल न्यूज़ पर फॉलो करें। सबसे तेज अपडेट प्राप्त करने के लिए टेलीग्राम चैनल सब्सक्राइब करें एवं हमारे व्हाट्सएप कम्युनिटी ज्वॉइन करें। इन सबकी डायरेक्ट लिंक नीचे स्क्रॉल करने पर मिल जाएंगी। सरकारी नौकरी, प्रतियोगी परीक्षाएं एवं पाठ्यक्रमों, रोजगार एवं शिक्षा से संबंधित महत्वपूर्ण समाचार पढ़ने के लिए कृपया स्क्रॉल करके सबसे नीचे POPULAR Category 3 में career पर क्लिक करें।